Russia-Ukraine War: नई दिल्ली, यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद पिछले एक महीने से लगातार युद्धस्थल (Russia-Ukraine War) से ऐसी भयावाह तस्वीरे सामने आ रही है. जो लोगों को अंदर तक झकझोर रही है और यूक्रेन के तरफ से लगातार आरोप लगाए जा रहे है कि रूसी सेना मानवता को तार तार कर रही […]
नई दिल्ली, यूक्रेन पर रूस के हमले के बाद पिछले एक महीने से लगातार युद्धस्थल (Russia-Ukraine War) से ऐसी भयावाह तस्वीरे सामने आ रही है. जो लोगों को अंदर तक झकझोर रही है और यूक्रेन के तरफ से लगातार आरोप लगाए जा रहे है कि रूसी सेना मानवता को तार तार कर रही है. इसी बीच यूक्रेन की राजधानी कीव के पास बसे शहर बूचा में हुए नरसंहार (Bucha Massacre) की तस्वीरें सोशल मीडिया पर वायरल हुई. जिसमें सड़को पर लाशों के ढेर दिखाई दे रहे है. इन तस्वीरों ने पूरी दुनिया का ध्यान अपनी ओर खींचा है.. सभी के मुंह पर सिर्फ एक नाम है अजात्बेक ओमुरबेकोव (Ajatbek Omurbekov). रूसी सेना के सेपरेट मोटरराइज्ड राइफल ब्रिगेड के कमांडर अजात्बेक के आदेश पर ही रूसी सैनिकों ने बूचा में कत्लेआम किया।
मीडिया रिपोर्ट्स की माने रूसी कमांडर अजात्बेक ओमुरबेकोव (Ajatbek Omurbekov) ने सैनिकों को 50 साल से कम उम्र वाले सभी मर्दो को मारने का आदेश दिया था. इसके बाद रूसी सैनिकों ने कत्लेआम मचाते हुए सामूहिक रेप और नरसंहार किया था. बूचा निवासियों के अनुसार रूस को सैनिकों ने मृतक के परिजनों को लाश दफनाने के लिए सिर्फ 20 मिनट दिए थे।
कमांडर अजात्बेक ओमुरबेकोव ईश्वर में बहुत आस्था रखता है. जानकारी के मुताबिक उसने पिछले साल ऑर्थोडॉक्स चर्च के पादरी से आशीर्वाद भी लिया था. इस दौरान उसने कहा था कि जंग के दौरान हथियार सबसे अहम चीज नहीं होती है, अधिकतर लड़ाई हम अपनी आत्मा के साथ लड़ते है।
बता दे कि 40 वर्षीय ओमुरबेकोव को साल 2014 में मिलिट्री मेडल भी मिल चुका है. उसे ये सम्मान रूस के डिप्टी डिफेंस मिनिस्टर दिमित्री बुल्गाकोव ने दिया था. बूचा नरसंहार में नाम सामने के बाद अब पूरी दुनिया में इस कमांडर के पुरान इतिहास को खंगाला जा रहा है और लोग इस नरसंहार के लिए ओमुरबेकोव को ही पूरी तरह से जिम्मेदार मान रहे है. अंतरराष्ट्रीय कानून के भी मुताबिक सैनिकों द्वारा किए गए किसी भी युद्ध अपराध के लिए आर्मी कमांडर ही जिम्मेदार माना जाता है।
गौरतलब है कि यूक्रेन के अधिकारियों ने दावा किया है कि बूचा शहर के पास 400 से अधिक शव बरामद किए जा चुके है. इन शवों में 50 शवों के ऊपर रूसी सेना की बर्बरता के निशान मिले है. यूक्रेनी राष्ट्रपति जेलेंस्की ने इस नरसंहार के लिए रूस पर सख्त प्रतिबंध लगाने की मांग की है।