अहमद बुखारी ने यूनुस को खत में लिखा कि हिंदू अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमले और एकतरफा कार्रवाई को तुरंत रोकना चाहिए। यूनुस सरकार को हिन्दुओं के साथ हो रहे अन्याय के लिए कट्टरपंथियों पर लगाम लगाना चाहिए।
नई दिल्ली। 5 अगस्त 2024 को शेख हसीना के बांग्लादेश छोड़कर भागने के बाद से वहां पर हिंदू आबादी निशाने पर है। कट्टरपंथी मुस्लिम घरों में घुसकर महिलाओं की इज्जत लूट रहे हैं। हिन्दुओं को मारा जा रहा है। मंदिर निशाने पर हैं। वहां रह रहे हिन्दू बाहर निकलने पर पहनावा तक बदल ले रहे हैं। उनका कहना है कि बांग्लादेश में उनकी स्थिति पाकिस्तान से भी ज्यादा ख़राब है। इसी बीच जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने हिन्दुओं की स्थिति पर चिंता जताई है।
अहमद बुखारी ने यूनुस को खत में लिखा कि बांग्लादेश बनने के बाद से भारत का घनिष्ठ संबंध रहा है। हमारे राष्ट्रीय नेतृत्व, मीडिया, प्रभावशाली लोगों, नागरिकों ने शेख मुजीबुर्रहमान, उनकी बेटी शेख हसीना और अवामी लीग से अच्छे संबंध बनाए रखे। अंतरराष्ट्रीय मसलों पर बांग्लादेश हमेशा एक करीबी के रूप में हमारे साथ खड़ा रहा। हिंदू अल्पसंख्यकों पर हो रहे हमले और एकतरफा कार्रवाई को तुरंत रोकना चाहिए। यूनुस सरकार को हिन्दुओं के साथ हो रहे अन्याय के लिए कट्टरपंथियों पर लगाम लगाना चाहिए।
बता दें कि चिन्मय स्वामी की गिरफ़्तारी के बाद से हिन्दुओं की स्थिति और खराब हुई है। सरकार से लेकर सेना और आम लोगों तक हिन्दुओं पर जगह अटैक कर रहे। हिन्दू संत चिन्मय कृष्ण दास को इस सप्ताह राजद्रोह के आरोप में एयरपोर्ट से गिरफ्तार किया गया था। उनके साथ साथ 18 अन्य लोगों के खिलाफ 30 अक्टूबर को चटगांव के कोतवाली पुलिस थाने में FIR किया गया था। चिन्मय दास पर आरोप है कि उन्होंने न्यू मार्केट इलाके में हिंदू समुदाय की एक रैली को संबोधित करते हुए बांग्लादेश के राष्ट्रीय झंडे का अपमान किया था।
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