नई दिल्ली: पाकिस्तान को लेकर सऊदी अरब ने भिखारियों को लेकर चेतावनी दी है. वहीं पाकिस्तान से बड़ी संख्या में लोग धार्मिक यात्रा पर जाते हैं, लेकिन वहीं रहकर भीख मांगना शुरू कर देते हैं. सऊदी किंगडम इसे एक बड़ी समस्या मान रहा है. हालांकि सऊदी अरब ने पाकिस्तान से इन पर नियंत्रण करने को कहा है और अगर ऐसा नहीं किया गया तो कुछ प्रतिबंध भी लगाए जाएंगे.
एक पत्र लिखा है
दरअसल, सऊदी अरब के हज मंत्रालय ने पाकिस्तान के धार्मिक मामलों के मंत्रालय को एक पत्र लिखा है, जिसमें उमरा वीजा के जरिए सऊदी अरब में प्रवेश को नियंत्रित करने के सख्त निर्देश दिए हैं. वहीं इसके जवाब में, पाकिस्तान के धार्मिक मामलों के मंत्रालय ने “उमरा अधिनियम” लाने का फैसला लिया है, जो इसकी निगरानी की जिम्मेदारी ट्रैवल एजेंसियों को सौंपा जाएगा, जो आमतौर पर वीजा और अन्य कार्य संभालती हैं।
अपील की है
सऊदी ने पाकिस्तानी सरकार से भी ऐसे उपाय खोजने की अपील की है जिससे भिखारी धार्मिक यात्रा के बहाने सऊदी अरब में प्रवेश न कर सकें. पिछले साल सऊदी राजदूत नवाफ बिन सईद अहमद अल-मल्की के साथ बैठक में पाकिस्तान के गृह मंत्री मोहसिन नकवी ने आश्वासन दिया था और पाकिस्तान में भिखारियों को भेजने वाले माफियाओं के खिलाफ सख्त कार्रवाई की बात कही थी.
जांच एजेंसी को दी
वहीं पाकिस्तान ने इस नेटवर्क पर नकेल कसने की जिम्मेदारी अपनी राष्ट्रीय जांच एजेंसी को दी है. विदेश पाकिस्तानी मामलों के सचिव जीशान खानजादा ने कहा कि ज्यादातर लोग उमरा वीजा पर सऊदी अरब जाते हैं और वहां भीख मांगने की गतिविधियों में शामिल हो जाते हैं। अक्सर उनके खिलाफ कार्रवाई भी की जाती है.
भीख मांगना था
पिछले महीने ही यह खुलासा हुआ था कि सऊदी जाने वाली फ्लाइट में 11 तथाकथित भिखारी थे, जिन्हें विमान से उतार दिया गया. पूछताछ में उसने यह भी स्वीकार किया कि उसका मकसद सऊदी अरब में भीख मांगना था. इसी तरह, 2022 में एक विमान में सवार 16 तथाकथित भिखारियों को विमान से उतार दिया गया और गिरफ्तार कर लिया गया। यह भी आम बात है कि ज्यादातर जेबकतरे पाकिस्तानी होते हैं।
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