बीजिंग के साथ संबंधों पर विदेश मंत्री एस जयशंकर का बड़ा बयान,चीनी सीमा पर सैनिकों की वापसी का मुद्दा सुलझाForeign Minister S Jaishankar's big statement on relations with Beijing, issue of withdrawal of troops on Chinese border resolved
नई दिल्ली : भारत के विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने जिनेवा पहुंचने के बाद चीन को कई मुद्दों पर घेरा है। विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि चीन ने भारत के साथ समझौतों का ख्याल नहीं रखते हुए कई सारे फैसले लिए हैं।
जयशंकर ने जिनेवा में बोलते हुए कहा कि भारत और चीन के बीच जटिल संबंध हैं। वहीं चीन ने भारत के साथ समझौते का उल्लंघन करते हुए संबंधों को और ज्यादा खराब किया. हालांकि जयशंकर ने ये भी बताया कि चीन के साथ बॉर्डर पर तनाव कम करने के लिए हो रही बात-चीत में बहुत प्रगति हुई है और खासतौर से सैनिकों की वापसी से संबंधित विवाद 75 फीसदी सुलझ गए हैं।
विदेश मंत्री एस जयशंकर ने चीन से आर्थिक संबंधों पर बात की.उन्होंने भारत के चीन के साथ व्यापार घाटे पर बात करते हुए कहा कि बीजिंग के साथ व्यापार बराबरी के स्तर पर नहीं है.
जयशंकर ने इसके अलावा अगली क्वाड बैठक को लेकर भी बयान दिया. विदेश मंत्री ने कहा कि हम अमेरिका में अगला क्वाड शिखर सम्मेलन करने वाले हैं. सम्मेलन बाइडन के गृह राज्य डेलावेयर में होगा.
जिनेवा पहुंचने से पहले बर्लिन में जयशंकर ने कहा है कि रूस और यूक्रेन को बातचीत के जरिए संघर्ष को खत्म करना चाहिए और इसके लिए भारत दोनों देशों को हर तरह की सहायता देने को तैयार है. उन्होंने बर्लिन में जर्मन विदेश कार्यालय के वार्षिक राजदूत सम्मेलन में रूस-यूक्रेन के युद्ध पर कमेंट किया।.उन्होंने कहा कि उन्हें नहीं लगता कि यह युद्ध के मैदान पर कोई हल निकल सकता है। बातचीत से सभी चीजें ठीक होंगी और जब भी कोई वार्ता होती है तो दोनों पक्षों यानी रूस और यूक्रेन को भी शामिल होना चाहिए.
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