नई दिल्ली: ब्रिटिश सरकार ने सरकारी फोन में सुरक्षा के आधार पर टिक टॉक का इस्तेमाल करने पर बीते गुरुवार (16 मार्च) को रोक लगाने की घोषणा की है, इससे पहले अमेरिका, कानाडा और यूरोप संघ प्रतिबंध लगा चुका है। सावधानी बरतने के लिए यह निर्णय लिया गया रिपोर्ट के अनुसार कैबिनेट ऑफिस मंत्री ओलिवर […]
नई दिल्ली: ब्रिटिश सरकार ने सरकारी फोन में सुरक्षा के आधार पर टिक टॉक का इस्तेमाल करने पर बीते गुरुवार (16 मार्च) को रोक लगाने की घोषणा की है, इससे पहले अमेरिका, कानाडा और यूरोप संघ प्रतिबंध लगा चुका है।
रिपोर्ट के अनुसार कैबिनेट ऑफिस मंत्री ओलिवर डाउडेन ने संसद में कहा कि टिक टॉक पर बैन तुरंत प्रभाव से लागू होगा. इस घोषणा के बाद सरकारी कर्मचारी और मंत्री टिक टॉक का इस्तेमाल नहीं कर सकेंगे. उन्होंने आगे बताया कि सावधानी बरतने के लिए यह निर्णय लिया गया है. हालांकि निजी फोन में टिक टॉक पहले की तरह ही उपयोग किया जा सकेगा।
ब्रिटेन की सरकार ने कहा कि संवेदनशील सरकारी सूचनाओं की सुरक्षा प्राथमिकता है, इसलिए हम टिक टॉक एप पर प्रतिबंध लगा रहे हैं. उन्होंने यह भी बताया कि साइबर सुरक्षा विशेषज्ञों की सलाह पर यह फैसला लिया गया है।
टिकटॉक पर लगातार कई देशों में राष्ट्रीय सुरक्षा का हवाला देते हुए प्रतिबंध लगाया जा रहा है। हाल ही में डेनमार्क के रक्षा मंत्री ने सरकारी कर्मचारियों के फोन में टिप टॉप के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगा दिया है। अमेरिकी सरकार ने पिछले महीने ही फेडरल एजेंसी के अधिकारियों को दिए गए सरकारी फोन से टिक टॉक हटाने को कहा था, वही अब पूरे देश में शॉर्ट वीडियो प्लेटफार्म को बंद करने की तैयारी तेज हो गई है। यूरोपीय संघ और बेल्जियम भी अस्थाई तौर पर टिक टॉक के इस्तेमाल पर प्रतिबंध लगा चुका है। बता दें कि भारत पहले ही टिक टॉक पर पूरी तरह से प्रतिबंध लगा चुका है।
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