नई दिल्ली : चीन ने एक अनोखा रेल सिस्टम बनाया है जिससे भविष्य में ट्रेन पटरी पर नहीं बल्कि सड़कों पर दौड़ती नजर आएगी. डेवलेपमेंट के दम पर चीन ने पिछले कुछ सालों में दुनिया का ध्यान अपनी और खींचा है. स्पेस, इन्फ्रास्ट्रक्चर और टेक्नोलॉजी के मामले में चीन ने कई बड़े-बड़े देशों को पीछे छोड़ दिया है. ट्रांसपोर्ट क्षेत्र में भी अब चीन ने एक नया मुकाम हासिल कर लिया है. आप लोगों की जानकारी के लिए बता दें कि सोमवार को हेनान प्रांत के झूझोउ में पहली बार ट्रैक-लेस ट्रेन की सफल टेस्टिंग की गई है. चीन पहले इंटेलिजेंट रेल एक्सप्रेस सिस्टम को डेवलप करने का प्लान बना चुका है.
बता दें कि इस रेलवे सिस्टम को चीन की सीआरआरसी कॉरपोरेशन ने बनाया है. 30 मीटर लंबी इस ट्रेन में 3 चेयर कार लगाई गई, समय के साथ जरूरत पड़ने पर इसे बढ़ाया भी जा सकता है. ट्रेन में एक बार में 300 से 500 यात्री सफर कर सकते हैं. चीन ने दुनिया की पहली स्मार्ट ट्रेन का तोहफा दिया है. अगर इस ट्रेन की खासियत की बात की जाए तो ये स्मार्ट ट्रेन इको-फ्रेंडली है क्योंकि एक बार फुल चार्ज करने पर ट्रेन करीब 40KM का फासला तय कर सकती है. ट्रेवलिंग टाइम में कटौती के लिए ट्रेन की स्पीड को 70 किमी/घंटे रखी गई है.
चीफ इंजीनियर फेंग जिआंघुआ के अनुसार, ट्रैक-लेस ट्रेन सिस्टम बाकी ट्रेन्स (मेट्रो, मोनो-रेल) के मुकाबले सस्ती टेक्नोलॉजी है. इस ट्रेन में सेंसर टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया गया है जिसकी मदद से ट्रेन रास्ते का पता लगाकर आगे बढ़ सके. ऐसी अटकलें लगाई जा रही हैं कि 2018 तक चीन में ये स्मार्ट ट्रेन सड़कों पर दौड़ती नजर आएगी. ये स्मार्ट ट्रेन फ्यूचर का ट्रांसपोर्ट है, इस स्मार्ट ट्रेन के लिए खास तौर पर रोड पर डॉट के रूप में अद्रश्य लाइनों को डिजाइन किया गया है.