टोक्यो : 6 अगस्त, 1945 का दिन जापान के इतिहास में एक बदनुमा दाग के रुप में दर्ज है. इसी दिन अमेरिका ने जापान के शहर हिरोशिमा पर अमेरिका द्वारा किए गए परमाणु बम लिटिल ब्वॉय से हमला किया था. आज 6 अगस्त को 72 साल पूरे हो गए हैं. जापान में हर साल पूरा देश इस दिन हादसे के मृतकों के लिए राष्ट्रीय स्तर पर श्रद्धांजलि कार्यक्रम करता है. पूरा विश्व शांति की दुआ करता है.
अमेरिका के द्वारा जापान पर गिराया गया “लिटिल ब्वॉय” मानव इतिहास की सबसे बड़ी परमाणु त्रासदी के लिए जिम्मेदार है. इस बम के फटते ही में सवा लाख से अधिक लोगों की तुरंत मौत हो गई थी. इसके तीन दिन बाद 9 अगस्त को जापान के ही शहर नागासाकी पर अमेरिका ने दूसरा परमाणु हमला किया था.
लिटल ब्वॉय को सेकंड वर्ल्ड वॉर के दौरान अमेरिका के मैनहट्टन प्रोजेक्ट के तहत लॉस अलामोस में तैयार किया गया था. इस बम ने अपनी विस्फोटक क्षमता यूरेनियम -235 की नाभिकीय विखंडन प्रक्रिया से हासिल कर ली थी. करीब 4000 किग्रा वजनी इस बम की लंबाई तीन मीटर और व्यास 71 सेंटीमीटर तक था. इसकी विध्वंसक क्षमता 13-18 किलोटन टीएनटी (ट्राइनाइट्रोटालुइन) के बराबर थी.
युद्ध में पहली बार परमाणु हथियारों का इस्तेमाल किया गया था. इन दो बम विस्फोटों में कम से कम 1 लाख 29 हजार लोग मारे गए थे. कुछ वर्षों बाद परमाणु हमलों में मरने वालों की संख्या 2 लाख 30 हजार आंकी गई.