नई दिल्ली। भाजपा नेता नूपुर शर्मा की टिप्पणी के बाद कानपुर में जो कुछ हुआ वह पूरे देश ने देखा. कानपुर के आरोपियों पर सरकार सख्ती से कार्रवाई कर रही है. भाजपा ने नूपुर शर्मा को पार्टी से निलंबित तो कर दिया है. इसके बाद अब मुस्लिम संगठन नूपुर शर्मा की गिरफ्तारी की मांग उठाने […]
नई दिल्ली। भाजपा नेता नूपुर शर्मा की टिप्पणी के बाद कानपुर में जो कुछ हुआ वह पूरे देश ने देखा. कानपुर के आरोपियों पर सरकार सख्ती से कार्रवाई कर रही है. भाजपा ने नूपुर शर्मा को पार्टी से निलंबित तो कर दिया है. इसके बाद अब मुस्लिम संगठन नूपुर शर्मा की गिरफ्तारी की मांग उठाने लगे हैं. वहीं समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने यूपी के मंत्री दयाशंकर सिंह के बहाने नूपुर शर्मा पर पार्टी की कार्रवाई को महज दिखावा बता दिया है. अखिलेश ने ट्वीट करते हुए लिखा कि- भजपा नूपुर शर्मा पर सिर्फ़ निलंबन की दिखावटी कार्रवाई न करे, बल्कि वैधानिक क़दम उठाए. विवादित बयान पर बीजेपी से निलंबन तो उनका भी हुआ था, जो आज उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार में मंत्री बने बैठे हैं.
बता दें कि समाजवादी पार्टी से सांसद एसटी हसन ने नूपुर और नवीन पर कार्रवाई के लिए भाजपा का शुक्रिया अदा किया है. वहीं कांग्रेस ने बीजेपी की कार्रवाई को बाहरी ताकतों के दबाव में उठाया गया कदम बता दिया है. इधर, कतर, ईरान और कुवैत ने पैगंबर मोहम्मद के बारे में बीजेपी के नेताओं द्वारा दी गई विवादित टिप्पणियों को लेकर रविवार को भारतीय राजदूतों को तलब किया गया. खाड़ी के महत्वपूर्ण देशों ने इन टिप्पणियों की निंदा करते हुए अपनी कड़ी आपत्ति जताई.
रविवार को भारतीय राजदूत सिबी जॉर्ज को कुवैत में तलब किया गया. कुवैत के विदेश मंत्रालय ने यह जानकारी देते हुए कहा कि एशिया मामलों के सहायक विदेश मंत्री द्वारा एक आधिकारिक विरोध नोट सौंपा गया. वहीं, ईरान में भारतीय राजदूत धामू गद्दाम को तेहरान में रविवार शाम को दक्षिण एशिया के महानिदेशक द्वारा विदेश मंत्रालय में तलब किया गया, जहां पर विवादित टिप्पणीयों को लेकर कड़ा विरोध जताया गया. जानकारी के मुताबिक भारतीय राजदूत ने खेद व्यक्त किया और पैगंबर के किसी भी अपमान को अस्वीकार्य बताया.
बता दें कि भारत के उपराष्ट्रपति एम. वेंकैया नायडू वर्तमान में कतर की यात्रा पर गए हुए हैं और रविवार को उन्होंने कतर के प्रधानमंत्री व गृह मंत्री शेख खालिद बिन खलीफा बिन अब्दुलअजीज अल सानी से मुलाकात की. इससे पहले, मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि विदेश राज्य मंत्री सुल्तान बिन साद अल-मुरैखी ने भारत के राजदूत को नोट सौंपा.
विदेशी मंत्रालय ने भारत में सत्तारूढ़ दल द्वारा जारी किया गया बयान का स्वागत किया, जिसमें उसने पार्टी के नेता को निलंबित करने की घोषणा की. मंत्रालय ने कहा कि कतर भारत सरकार से सार्वजनिक माफी और इन टिप्पणियों की तत्काल निंदा की उम्मीद करता है. भारतीय दूतावास के प्रवक्ता ने यहां कहा, ‘‘अपमानजनक टिप्पणी करने वालों के खिलाफ पहले ही कड़ी कार्रवाई की जा चुकी है.’
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