नई दिल्ली। आज आठ मार्च है यानि International Women Day, इस बार जहां एक तरफ भारत होली के रंग में रंगा हुआ है तो दूसरी तरफ पूरी दुनिया बुधवार को International Women Day मना रही है। क्या आप जानते हैं महिला दिवस क्यों मनाया जाता है ? इसकी शुरुआत कब हुई थी ? तो आइए […]
नई दिल्ली। आज आठ मार्च है यानि International Women Day, इस बार जहां एक तरफ भारत होली के रंग में रंगा हुआ है तो दूसरी तरफ पूरी दुनिया बुधवार को International Women Day मना रही है। क्या आप जानते हैं महिला दिवस क्यों मनाया जाता है ? इसकी शुरुआत कब हुई थी ? तो आइए हम बताते है आपको अंतराष्ट्रीय दिवस क्यों मनाया जाता है और इसकी इस बार थीम क्या है।
International Women Day महिलाओं की उपलब्धियों के अलावा उनके अधिकारों की प्रगति का वार्षिक कार्यक्रम है। इसकी शुरुआत 20वीं सदी में अमेरिकी समाजवाद और श्रमिक आंदोलनों से हुई थी। उस समय महिलाएं काम के घंटे कम करने के अलावा बेहतर वेतन और वोट देने के अधिकार के लिए लड़ रही थी। इस दौरान 8 मार्च 1911 को महिला दिवस का पहला उत्सव मनाया गया था। इस दौरान ऑस्ट्रिया, डेनमार्क, जर्मनी और स्विटजरलैंड में दस लाख से भी अधिक लोगों ने महिलाओं के अधिकारों का समर्थन करने के लिए रैलियां निकाली थी।
इसके बाद से महिलाओं के कार्यस्थलों पर समानता से लेकर हिंसा के खिलाफ मुद्दों पर भी ध्यान केंद्रित किया गया। हालांकि, किसी भी समूह के पास इस कार्यक्रम का स्वामित्व नहीं था। 1977 में संयुक्त राष्ट्र की तरफ से अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस को मान्यता दी गई। तभी से संयुक्त राष्ट्र के सदस्यों ने इस दिन को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाना शुरू किया।
इस साल अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की थीम डिजिट ऑल – इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी फॉर जेंडर इक्वीलिटी है। यूएन के अनुसार पुरुषों की तुलना में 259 मिलियन कम महिलाएं इंटरनेट का उपयोग कर पती है। वहीं महिलाओं को विज्ञान, गणित, प्रौद्योगिकी और इंजीनियरिंग के करियर में बड़े पैमाने पर कम प्रतिनिधित्व दिया जाता है। ऐसे में महिलाओं की जरूरतों को पूरा करने के साथ लैंगिग समानता को बढ़ावा देने के लिए इस थीम को चुना गया है।