प्रयागराज: प्रयागराज में हुए उमेश पाल हत्याकांड ने पूरे उत्तर प्रदेश को दहला दिया है. इस मामले में जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है कुछ ना कुछ नया खुलासा हो गया है. जिस तरह से यह हत्याकांड हुआ वह किसी एक्शन फिल्म से कम नहीं था. कुछ सेकेंड खुलेआम हुई गोलीबार में हमलावरों ने उमेश […]
प्रयागराज: प्रयागराज में हुए उमेश पाल हत्याकांड ने पूरे उत्तर प्रदेश को दहला दिया है. इस मामले में जैसे-जैसे जांच आगे बढ़ रही है कुछ ना कुछ नया खुलासा हो गया है. जिस तरह से यह हत्याकांड हुआ वह किसी एक्शन फिल्म से कम नहीं था. कुछ सेकेंड खुलेआम हुई गोलीबार में हमलावरों ने उमेश पाल और सुरक्षाकर्मियों को कुछ बदमाशों ने भून दिया. इस दोहरी हत्याकांड में अब कई चेहरे नज़र आने लगे हैं. आइए जानते हैं कौन से मुख्य किरदार इस समय पुलिस के जांच के घेरे में हैं जिनके आस-पास पूरा हत्याकांड घूम रहा है.
सबसे पहले नाम आता है गुजरात की साबरमती जेल में बंद अतीक अहमद का. फूलपुर लोकसभा सीट से पूर्व सांसद और माफिया अतीक अहमद का जुर्म की दुनिया से पुराना नाता है. जरायम की दुनिया से निकलकर उसने सियासत में हाथ आजमाया था. दिवंगत बसपा विधायक राजू पाल की हत्या में अतीक अहमद मुख्य आरोपी था. दूसरी ओर राजू पाल की पत्नी पूजा पाल का चचेरा भाई उमेश पाल इस हत्याकांड का मुख्य गवाह था जिसके सनसनीखेज मर्डर से इस समय पूरे सूबे में हलचल है. बताया जा रहा है कि इससे पहले भी अतीक अहमद ने उमेश पाल का अपहरण किया था. वह कई बार उमेश पाल को अपना बयान बदलने के लिए मजबूर कर चुका है. उमेश पाल उसपर कई बार मुकदमा भी दर्ज़ करवा चुके थे.
इस दोहरे हत्याकांड का दूसरा अहम किरदार है अशरफ अहमद जो अतीक अहमद का छोटा भाई है. अशरफ भी इस समय जेल में बंद है. उसपर बरेली जेल से उमेश पाल के हत्यकांड की साजिश रचने का आरोप है. शूटरों का नाम और पूरा प्लान जेल में अशरफ ने बैठे-बैठे बनाया था. बरेली के डीएम-एसएसपी ने अशरफ की बैरक समेत पूरी जेल की तलाशी भी ली है. इसके अलावा अशरफ से मिलने वालों की जांच के आदेश भी दिए हैं. भले ही अतीक इस हत्याकांड का मास्टरमाइंड था लेकिन अशरफ ने पूरा प्लान तैयार किया था.
गिरफ्तार षड्यंत्रकारी का नाम सदाकत (25) बताया जा रहा है जो पेशे से इलाहाबाद हाई कोर्ट का वकील है। पूछताछ में पता चला है कि हाई कोर्ट में वकालत की प्रैक्टिस से अधिक वह अपराधियों के साथ उठता बैठता है. इस हत्याकांड की योजना को अंतिम रूप दिए जाने के दौरान सदाकत के कमरे पर ही दूसरे दौर की बैठक हुई थीं. यह कमरा उसके प्रयागराज स्थित मुस्लिम हॉस्टल में है.
मंगलवार को छानबीन के दौरान इस मामले में एक शूटर की पहचान हुई थी जिसका नाम मोहम्मद गुलाम बताया जा रहा है. यह शूटर टोपी पहनकर उमेश पाल के घर के बाहर खड़ा था. गुलाम करीब 10 मिनट पहले वहां खड़े होकर सामान खरीदने का नाटक कर रहा था जिसे केवल उमेश पाल के आने का इंतजार था. जैसे ही उमेश पाल की गाड़ी वहां आई वह फौरन दुकान से निकल कर बाहर भागा. उसी ने सबसे पहले उमेश पाल पर गोलियां चलाई थीं.
बीते शुक्रवार प्रयागराज में हुए उमेश पाल हत्याकांड में उत्तर प्रदेश पुलिस की बड़ी कार्रवाई देखने को मिली है. जहां पुलिस ने एनकाउंटर में उमेश पाल के हत्यारोपी और अतीक अहमद के बेहद करीबी बदमाश अरबाज़ को मार गिराया है. जानकारी के अनुसार बदमाश को पुलिस ने एनकाउंटर में ढेर कर दिया है। उमेश पाल हत्याकांड में जिस क्रेटा कार का इस्तेमाल किया गया था, अरबाज ही उसे चला रहा था. जानकारी के अनुसार एनकाउंटर में मारा गया बदमाश अरबाज पूर्व सांसद अतीक अहमद का करीबी था. वह सल्लापुर का रहने वाला था और अतीक अहमद की गाड़ी भी चलाता था. धूमनगंज इलाके में स्थित नेहरू पार्क के जंगल में अब पुलिस ने एनकाउंटर में बदमाश अरबाज़ को मार गिराया है.
उमेश पाल की हत्या में गुड्डू मुस्लिम शख्स अतीक अहमद का करीबी बताया जाता है. यह पिछले काफी समय से अतीक के लिए काम करता था. यह साजिश में शामिल था.
उमेश पाल के मर्डर में साबिर का नाम भी शामिल है जो अतीक फैमली का करीबी है. जानकारी के अनुसार साबिर अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता का पूर्व ड्राइवर है. वह अतीक अहमद का वफादार है इसलिए उसे इस हत्याकांड में शामिल किया गया.
हत्याकांड में अतीक अहमद का छोटा बेटा असद और उसके दो बड़े भाई पहले से जेल में बंद हैं. पुलिस का यह दावा है कि सीसीटीवी कैमरों में कैद लगभग सभी चेहरों की शिनाख्त हो गई है. इन्हीं में से एक अतीक का बेटा असद बताया जा रहा है. वारदात के समय असद घटना स्थल पर मौजूद था इस बात के सबूत भी पुलिस को मिले हैं.
इस हत्याकांड में तीन लोकेशन बड़ी अहम मानी जा रही हैं.पहली है उमेश पाल का घर जहां कुछ शूटर पहले से घात लगाए बैठे थे. इसके बाद दूसरी अहम लोकेशन प्रयागराज का मुस्लिम हॉस्टल है जहां वकील सदाकत के कमरे में हमलावरों ने मीटिंग की थी. तीसरी अहम लोकेशन बरेली जेल थी जहाँ अशरफ बंद है.
25 फरवरी की सुबह इस हत्याकांड के बाद उमेश पाल की पत्नी ने केस दर्ज कराया है. माफिया अतीक अहमद, माफिया की पत्नी शाइस्ता परवीन, 2 बेटे और माफिया का भाई अशरफ इस पूरे हत्यकांड में साजिशकर्ता के तौर पर नामजद हैं. माफिया अतीक अहमद के 2 अन्य साथियों के खिलाफ भी शिकायत दर्ज़ की गई है.
पूर्व सांसद अतीक अहमद की पत्नी शाइस्ता परवीन ने मुख्यमंत्री योगी को चिट्ठी लिखी है. इस चिट्ठी में दो पुलिस अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाए गए हैं. चिट्ठी में लिखा है कि पुलिस कमिश्नर रमित शर्मा और एडीजी एसटीएफ अमिताभ यश ने विरोधियों से पति अतीक अहमद और देवर अशरफ की हत्या की सुपारी ली है.
शाइस्ता की इस चिट्ठी में लिखा है, ‘बसपा से महापौर का प्रत्याशी घोषित करने के बाद से यूपी सरकार के कैबिनेट मंत्री नंद गोपाल नंदी ने महापौर का पद अपने पास रखने के लिए हम लोगों को चुनाव से दूर रखने की साजिश रचना शुरू कर दिया था, उसी साजिश के परिणाम स्वरूप एक ऐसे व्यक्ति की हत्या करवाई गई जिसकी हत्या का आरोप मेरे पति पर लगना अवश्यंभावी था.’ बता दें, पुलिस की दस टीमें इस पूरे मामले की जांच कर रही है. आरोपियों को ढूंढने के लिए दिन-रात छापेमारी की जा रही है.