नई दिल्ली. देशवासियों को कोरोना संक्रमण Corona virus से बचाने के लिए केन्द्र सरकार लगातार प्रयासरत है। इसी के तहत 15 से 18 साल तक के किशोरों के लिए तीन जनवरी से वैक्सीनेशन शुरू किया गया है। टीकाकरण के पहले दिन बच्चों एवं अभिभावकों में काफी उत्साह देखा गया। राज्य सरकारों ने भी इसके लिए […]
नई दिल्ली. देशवासियों को कोरोना संक्रमण Corona virus से बचाने के लिए केन्द्र सरकार लगातार प्रयासरत है। इसी के तहत 15 से 18 साल तक के किशोरों के लिए तीन जनवरी से वैक्सीनेशन शुरू किया गया है। टीकाकरण के पहले दिन बच्चों एवं अभिभावकों में काफी उत्साह देखा गया। राज्य सरकारों ने भी इसके लिए खास तैयारियां की हुई थीं। पहले दिन देशभर में करीब 42 लाख बच्चों को कोरोना वैक्सीन की पहली डोज लगाई गई। कोविन वेबसाइट के मुताबिक, वैक्सीन के लिए अब तक देशभर में 55 लाख से अधिक बच्चे अपना रजिस्ट्रेशन करा चुके हैं।
देश के प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने बच्चों में वैक्सीनेशन को लेकर खुशी जाहिर की है। उन्होंने सोमवार रात एक ट्वीट के जरिए बच्चों का हौंसला बढ़ाते हुए लिखा कि आज हमने अपने युवाओं को कोरोना संक्रमण से बचाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम उठाया है। 15-18 आयु वर्ग के मेरे सभी युवा मित्रों को टीका लगवाने के लिए बधाई। उनके माता-पिता को भी बधाई। मैं आने वाले दिनों में और अधिक युवाओं से टीकाकरण कराने का आग्रह करता हूं।
Today we have taken an important step forward in protecting our youth against COVID-19. Congrats to all my young friends between the age group of 15-18 who got vaccinated. Congrats to their parents as well. I would urge more youngsters to get vaccinated in the coming days!
— Narendra Modi (@narendramodi) January 3, 2022
बच्चों के वैक्सीनेशन के प्रति देशभर के राज्यों में अलग-अलग रवैया दिखाई दिया। पहले दिन बच्चों को टीका लगाने में सबसे टॉप पर रहा मध्य प्रदेश। राज्य मंत्री विश्वास कैलाश सारंग ने दावा किया कि एमपी में पहले दिन 10 लाख से ज्यादा किशोरों को वैक्सीन लगाई गई। इसके बाद दूसरे पाएदान पर रहा गुजरात, जहां लगभग 5,60,000 बच्चों को वैक्सीन लगी। इसके अलावा कर्नाटक में 4,20,000 राजस्थान में 3,62,000 तमिलनाडु में करीब 2,00,000 महाराष्ट्र में 1,83,000 बिहार में 1,73,000 यूपी में 1,70,000 और पश्चिम बंगाल में 1,00,000 से अधिक बच्चों को कोरोना की वैक्सीन लगाई गई। हैरत की बात है देश की राजधानी दिल्ली और पंजाब में वैक्सीनेशन को लेकर उदासीन रवैया देखा गया। दिल्ली में कुल 21,000 और पंजाब में महज 2300 बच्चे ही वैक्सीनेशन कराने पहुंचे।