पटना: बिहार में महागठबंधन की सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. राजनीति में परिवारवाद पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बयान के बाद से ही राष्ट्रीय जनता दल और जनता दल (यूनाइटेड) में तल्खी बढ़ी हुई है. चर्चा है कि जेडीयू प्रमुख नीतीश फिर से एनडीए का दामन थाम सकते हैं. इस बीच आज, […]
पटना: बिहार में महागठबंधन की सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं. राजनीति में परिवारवाद पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के बयान के बाद से ही राष्ट्रीय जनता दल और जनता दल (यूनाइटेड) में तल्खी बढ़ी हुई है. चर्चा है कि जेडीयू प्रमुख नीतीश फिर से एनडीए का दामन थाम सकते हैं. इस बीच आज, 26 जनवरी को गणतंत्र के अवसर पर पटना के गांधी मैदान में आयोजित कार्यक्रम में सीएम नीतीश और डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव शामिल हुए. इस दौरान दोनों करीब डेढ़ घंटे तक साथ रहे. हालांकि दोनों के बीच कोई बातचीत नहीं हुई.
बता दें कि बिहार की सियासत में आज का दिन काफी अहम हो सकता है. शाम करीब साढ़े 4 बजे मुख्यमंत्री नीतीश कुमार राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ आर्लेकर से मुलाकात करने वाले हैं. ऐसी खबरें हैं कि वे महागठबंधन की सरकार को लेकर कोई बड़ा फैसला ले सकते हैं. इस बीच राजद खेमे में भी हलचल बढ़ी हुई है. आज सुबह विधान परिषद के उप सभापति रामचंद्र पूर्वे लालू यादव से मिलने के लिए राबड़ी आवास पहुंचे. आरजेडी के विधायकों का भी राबड़ी आवास पर आना-जाना जारी है.
मीडिया में चल रही खबरों के मुताबिक 28 जनवरी को जेडीयू-बीजेपी की नई सरकार का शपथ ग्रहण समारोह हो सकता है. बताया जा रहा है कि जनता दल (यूनाइटेड) और भारतीय जनता पार्टी के साथ आने पर नीतीश कुमार ही मुख्यमंत्री बने रहेंगे, वहीं बीजेपी खेमे से दो उपमुख्यमंत्री होंगे. सुशील मोदी और रेणू देवी डिप्टी सीएम बनेंगी. उधर, विधानसभा और लोकसभा चुनाव एक साथ कराए जाने की संभावनाओं पर बिहार भाजपा के नेताओं ने समर्थन नहीं किया है. खबरों के मुताबिक़, बिहार में लोकसभा के साथ विधानसभा का चुनाव नहीं कराया जाएगा.
बता दें कि बिहार की सियासत में मची हलचल और नीतीश कुमार के फिर से पाला बदल कर बीजेपी के साथ जाने के कयासों के बीच फिलहाल पार्टी की तरफ से सार्वजनिक रूप से कोई बयान नहीं आया है. इस बीच बीते दिन यानी गुरुवार को पटना में मचे सियासी घमासान के बीच बीजेपी आलाकमान ने बिहार भाजपा के नेताओं को बैठक के लिए दिल्ली बुलाया था. केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के आवास पर हुई उच्चस्तरीय बैठक में अमित शाह और जेपी नड्डा ने बिहार बीजेपी के नेताओं के साथ लगभग पौने दो घंटे तक विचार विमर्श किया.
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