रायपुर। विवादों में घिरी फिल्म आदिपुरुष को लेकर सियासत तेज है. आदिपुरुष के संवाद को लेकर निर्माताओं पर निशाना साधा जा रहा है. कई साधु-संतों और राजनेताओं ने फिल्म पर बैन लगाने की मांग की है. इस बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने एक बार फिर से आदिपुरुष पर बैन लगाने की मांग की […]
रायपुर। विवादों में घिरी फिल्म आदिपुरुष को लेकर सियासत तेज है. आदिपुरुष के संवाद को लेकर निर्माताओं पर निशाना साधा जा रहा है. कई साधु-संतों और राजनेताओं ने फिल्म पर बैन लगाने की मांग की है. इस बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने एक बार फिर से आदिपुरुष पर बैन लगाने की मांग की है. सीएम बघेल ने छत्तीसगढ़ दौरे पर आए केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से अपील करते हुए कहा है कि भगवान राम की छवि बिगाड़ने वाली फिल्म आदिपुरुष को तुरंत बैन किया जाए. बता दें कि इससे पहले भूपेश बघेल आदिपुरुष पर बैन लगाने की बात कह चुके हैं.
छत्तीसगढ़ के सीएम भूपेश बघेल ने आज ट्वीट कर आदिपुरुष पर बैन लगाने की बात कही है. उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा है, ‘ केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह जी का भगवान राम के ननिहाल छत्तीसगढ़ में सभी श्री राम भक्तों और प्रदेशवासियों की ओर से स्वागत है. साथ ही विनम्र निवेदन करता हूँ कि आज ही रामायण और प्रभु की छवि बिगाड़ने वाली फिल्म आदिपुरुष को बैन करने की घोषणा करें.’
केंद्रीय गृह मंत्री श्री अमित शाह जी का भगवान राम के ननिहाल छत्तीसगढ़ में सभी श्री राम भक्तों और प्रदेशवासियों की ओर से स्वागत है।
साथ ही विनम्र निवेदन करता हूँ कि आज ही रामायण और प्रभु की छवि बिगाड़ने वाली फिल्म #आदिपुरुष को बैन करने की घोषणा करें।
|| जय सिया राम ||
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) June 22, 2023
उधर, रामायण सीरियल के ‘लक्ष्मण’ सुनील लहरी ने आदिपुरुष फिल्म को देखने के बाद कहा कि इस फिल्म में लॉजिक लगाने की जरूरत ही नहीं है. अगर हम रामायण की कहानी और अपने दिमाग को अलग कर दें तो ये सिर्फ टाइम पास है और कुछ नहीं. मैं सच कहूं तो ये फिल्म बेहद शर्मनाक है. अगर फिल्म के निर्माता कहते हैं कि हमने रामायण को ध्यान में रखकर इसे बनाया है तो ये पूरी तरह बकवास है. मुझे समझ नहीं आ रहा है कि फिल्म मेकर्स ने ऐसा क्यों किया. कुछ अलग दिखाने का मतलब अपने कल्चर और अपनी संस्कृति के साथ खेलना नहीं होता है.
सुनील लहरी ने आगे कहा कि आदिपुरुष के निर्माताओं ने अपनी फिल्म में स्पष्ट तौर पर लिखा है कि ये पूरी वाल्मिकी पर लिखी कहानी पर आधारित है. अगर आप वाल्मिकी रामायण को देखकर फिल्म बना रहे हो तो आपने हर जगह देखा और पढ़ा होगा कि रावण पुष्पक विमान से सीता माता का हरण करने के लिए आता है, लेकिन यहां पर वो चमगादड़ के ऊपर आता है. इसके बाद लक्ष्मण और मेघनाद की जंग हवा में हुई थी, लेकिन इन्होंने उसे पानी के अंदर दिखाया है. फिल्म में किसी भी किरदार को सही तरीके से नहीं दिखाया गया है. पता नहीं क्यों इन्होंने ऐसा दिखाया है.
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