आधार कार्ड जारी करने वाली संस्था UIDAI ने इसके लिए कोई विशेष नियम नहीं बनाए हैं। हालांकि एक व्यक्ति के मरने के बाद आधार को सरेंडर या बंद करने का कोई तरीका नहीं है। फिर भी आधार कार्ड के दुरुपयोग से बचने के लिए एक उपाय है और वह है आधार को लॉक करना।
नई दिल्ली: सरकार द्वारा जारी किया गया एक महत्वपूर्ण दस्तावेज आधार कार्ड अब लगभग हर सरकारी और गैर-सरकारी योजना का हिस्सा बन चुका है। यह व्यक्ति की पहचान के लिए जरूरी होता है और इसे बनाने के लिए नाम, पता और बायोमेट्रिक डिटेल्स जैसे फिंगरप्रिंट इकट्ठे किए जाते हैं। एक बार आधार कार्ड जारी होने के बाद, यह 12 अंकों का यूनीक नंबर होता है, जो जीवनभर केवल एक बार ही दिया जाता है। लेकिन, अगर किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाए तो उसके आधार कार्ड का क्या होगा? क्या उसे बंद किया जा सकता है?
इस पर कई सवाल उठते हैं, क्योंकि आधार कार्ड जारी करने वाली संस्था UIDAI ने इसके लिए कोई विशेष नियम नहीं बनाए हैं। हालांकि एक व्यक्ति के मरने के बाद आधार को सरेंडर या बंद करने का कोई तरीका नहीं है। फिर भी आधार कार्ड के दुरुपयोग से बचने के लिए एक उपाय है और वह है आधार को लॉक करना। UIDAI ने आधार को लॉक करने की सुविधा प्रदान की है, जिससे मृत्यु के बाद आधार का कोई दुरुपयोग नहीं कर सकता। इस प्रक्रिया को पूरा करने के लिए आपको UIDAI की वेबसाइट पर जाकर कुछ आसान स्टेप्स फॉलो करने होंगे।
1. UIDAI की वेबसाइट पर जाएं और ‘My Aadhar’ मेनू में ‘Lock/Unlock Biometrics’ ऑप्शन पर क्लिक करें।
2. आधार नंबर और कैप्चा को भरें, फिर रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर पर आए ओटीपी को दर्ज करें।
3. लॉक या अनलॉक ऑप्शन सेलेक्ट करें और आवश्यक निर्देशों का पालन करें।
4. लॉक करने के बाद, आधार की बायोमेट्रिक डिटेल्स का उपयोग नहीं किया जा सकेगा, जब तक कि उसे अनलॉक न किया जाए।
यह प्रक्रिया धोखाधड़ी से बचाने के लिए महत्वपूर्ण है और इसे तभी अनलॉक किया जा सकता है, जब व्यक्ति का नंबर इससे लिंक हो.
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