मुंबई: महाराष्ट्र में चल रहे राजनीतिक नाटक के बाद पूरे देश का सियासी पारा चढ़ गया है. NCP से बगावत कर अजित पवार ने रविवार को शिंदे गुट से हाथ मिला लिया और डिप्टी सीएम बन गए. वहीं महाराष्ट्र की सियासत में एनसीपी की दो फाड़ से भूचाल आ गया है. इस बीच NCP के […]
मुंबई: महाराष्ट्र में चल रहे राजनीतिक नाटक के बाद पूरे देश का सियासी पारा चढ़ गया है. NCP से बगावत कर अजित पवार ने रविवार को शिंदे गुट से हाथ मिला लिया और डिप्टी सीएम बन गए. वहीं महाराष्ट्र की सियासत में एनसीपी की दो फाड़ से भूचाल आ गया है. इस बीच NCP के दोनों गुट एक्टिव मोड में नज़र आएंगे.
एनसीपी से सोमवार को शिवाजीराव गरजे और विजय देशमुख समेत तीन नेताओं को निष्कासित कर दिया गया. इसके अलावा प्रफुल्ल पटेल और सुनील तटकरे को भी पार्टी ने बर्खास्त कर दिया है जिस बीच अजित पवार गुट ने प्रेस वार्ता रखी. इस दौरान अजित पवार ने एक बार फिर NCP पर अपना दावा ठोका. बताया जा रहा है कि इस बीच उन्होंने शरद पवार के सामने सुलह का फॉर्मूला भी पेश किया है. अपने नए फॉर्मूले में उन्होंने कहा कि शरद पवार पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं. वह नहीं चाहते कि राज्य में चुनाव दोबारा हो इसलिए दोनों पार्टियों को आपसी सुलह कर लेनी चाहिए. इस बीच अजित पवार ने कहा है कि वो फिलहाल किसी को भी पार्टी से निष्कासित नहीं कर रहे हैं बल्कि वह अपनी पार्टी का विस्तार कर रहे हैं.
दरअसल प्रेस वार्ता के दौरान जब उनसे पूछा गया कि NCP का राष्ट्रीय अध्यक्ष कौन है तो उन्होंने कहा कि क्या आप भूल गए हैं कि शरद पवार पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष हैं. इतना ही नहीं उन्होंने खुद शरद पवार के सामने पार्टी में चल रही खटपट पर सुलह का फार्मूला रखते हुए कहा, हम नहीं चाहते कि पार्टी में दो फाड़ होने की स्थिति में दोबारा चुनाव हो. इसलिए सही यह होगा कि आपसी सहमति से पार्टी में फैसले लिए जाएं. वह आगे कहते हैं कि यदि आपसी फैसले नहीं लिए गए या सहमति नहीं बनी तो चुनाव आयोग को फैसला लेना होगा.