नई दिल्ली: मणिपुर के जिरीबाम इलाके से दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है. जानकारी के मुताबिक, 31 साल की आदिवासी महिला के साथ पहले बलात्कार किया गया. उसके बाद उसे जिंदा जला दिया गया. वहीं इस दौरान कई हथियारबंद हमलावरों ने गांव में ताबड़तोड़ फायरिंग के साथ लूटपाट और आगजनी की.खबरों के मुताबिक […]
नई दिल्ली: मणिपुर के जिरीबाम इलाके से दिल दहला देने वाली घटना सामने आई है. जानकारी के मुताबिक, 31 साल की आदिवासी महिला के साथ पहले बलात्कार किया गया. उसके बाद उसे जिंदा जला दिया गया. वहीं इस दौरान कई हथियारबंद हमलावरों ने गांव में ताबड़तोड़ फायरिंग के साथ लूटपाट और आगजनी की.खबरों के मुताबिक हमलावरों ने 17 घरों को जलाकर राख कर दिया. पुलिस के अनुसार इस घटना में पीड़िता के साथ सामूहिक बलात्कार और फिर हत्या को अंजाम दिया गया है.
पुलिस के एफआईआर में नस्लीय और सामुदायिक आधार पर बलात्कार और हत्या का उल्लेख किया है. वहीं पीड़िता के पति ने पुलिस को बताया कि इस वारदात को अवैध घुसपैठियों ने अंजाम दिया है. परंतु अभी तक हमलावरों की पहचान नहीं हो पाई है. पुलिस को आशंका है कि हमलावर मणिपुर के स्थानीय इलाकों के हो सकते हैं.
मणिपुर में जातीय संघर्ष चल रहा है. ये जातीय संघर्ष राज्य में विभाजन का कारण बन गया है. मणिपुर में बहुसंख्यक मैतेई और आदिवासी कुकी समुदायों के बीच काफी लंबे समय से संघर्ष हो रहा है. जिसके वजह से राज्य में हिंसा का माहौल है. अभी तक इस संघर्ष में करीब 230 लोगों की मौत हो चुकी है. वहीं 50,000 लोग बेघर हो गए हैं. इस घटना ने राज्य में उथल-पुथल मचा दिया है.
बता दें इस घटना के बाद आदिवासी संगठनों ने केंद्र सरकार से मणिपुर में कुकी-जोमी-हमार समुदायों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए हस्तक्षेप की मांग की है. चुराचांदपुर के आदिवासी संगठन इंडिजिनस ट्राइबल लीडर्स फोरम ने इस घटना के पीछे जिम्मेदार लोगों की फौरन गिरफ्तारी की मांग की है. वहीं इससे पहले मणिपुर में हुई हिंसा को लेकर गृह मंत्रालय ने बात-चीत शुरू की थी, परंतु स्थिति लगातार भयावह होती जा रही है.