भोपाल: इस समय मध्य-प्रदेश के खरगोन से एक बारात पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है. जहां इस अनोखी बारात में बैलगाड़ी पर दूल्हा और 35 ट्रैक्टर्स पर सवार बारातियों का काफिला हर किसी का ध्यान खींच रहा है. काफिले को देखने वाला हर कोई दंग रह गया है जहां बैलगाड़ी और ट्रैक्टर्स […]
भोपाल: इस समय मध्य-प्रदेश के खरगोन से एक बारात पूरे देश में चर्चा का विषय बनी हुई है. जहां इस अनोखी बारात में बैलगाड़ी पर दूल्हा और 35 ट्रैक्टर्स पर सवार बारातियों का काफिला हर किसी का ध्यान खींच रहा है. काफिले को देखने वाला हर कोई दंग रह गया है जहां बैलगाड़ी और ट्रैक्टर्स से निकली बारात चर्चा में बनी हुई है.
दरअसल मध्य-प्रदेश के खरगोन में एक बारात बैलगाड़ी और ट्रैक्टर्स के साथ निकाली गई. इसके पीछे दूल्हे ने जो तर्क दिया वो भी जान लीजिये। बारात को लेकर दूल्हे का कहना है कि उसने अपनी शादी को यादगार बनाने के लिए ऐसा किया. इस दूल्हे का नाम धीरज परिहार है. धीरज खरगोन जिला मुख्यालय से करीब 80 किलोमीटर दूर बड़वाह थाना क्षेत्र के बड़ेल गांव का निवासी है. दूल्हे की शादी गांव की ही भाग्यश्री के साथ तय हुई थी. दोनों ने अपनी शादी के लिए कुछ अलग करने की सोची. दुल्हन के दरवाजे पर बारात ले जाने के लिए दूल्हे ने बैलगाड़ी और ट्रैक्टर्स बुक किए. जहां वह खुद बैलगाड़ी पर बैठा और ट्रैक्टर्स पर बारातियों को बैठाया। इस दौरान उसे कुल 35 ट्रैक्टर्स लगे.
जब ये अनोखी बारात सड़क पर निकली तो हर किसी की नज़र सड़क पर जम गई. हर शख्स 150 लोगों को सज-धजकर ट्रैक्टर पर सवार हुआ देख हैरान रह गया. धीरज का कहना है कि भगवान शिव नंदी पर सवार होकर माता पार्वती से ब्याह करने गए ऐसे में वह भी बैलगाड़ी पर सवार होकर बारात लेकर जाना चाहता था. बेंगलुरु में जॉब करने वाले धीरज के पिता पेशे से किसान हैं. इसलिए उन्होंने पूरी बारात खेत से निकाली और दुल्हन के दरवाजे पर अनोखे अंदाज़ में जा पहुंचे. अब एक किलोमीटर लंबे काफिले वाली ये बारात इस समय चर्चा का विषय बनी हुई है.