देश के कई राज्यों में फैली कैश की किल्लत को टीएमसी सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने 'आर्थिक आपातकाल' करार दिया. उन्होंने कहा कि नोटबंदी के ऐलान के बाद पीएम नरेंद्र मोदी ने जनता से 50 दिन का समय मांगा था. डेढ़ साल बीत जाने के बाद भी देश में पैसों की कमी बरकरार है.
नई दिल्लीः देश के कई राज्यों में कैश की किल्लत का संकट पैदा हो गया है. एटीएम खाली पड़े हुए हैं. लोग पैसे निकालने के लिए अलग-अलग बैंकों के
एटीएम की खाक छान रहे हैं. हालात कुछ हद तक नोटबंदी की याद दिला रहे हैं. रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) जल्द हालात सामान्य होने की बात कह रहा है. इस बीच तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के सांसद डेरेक ओ ब्रायन ने इस नकदी संकट को ‘आर्थिक आपातकाल’ करार दिया.
डेरेक ओ ब्रायन ने कहा कि 8 नवंबर, 2016 को पीएम नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी का ऐलान किया था. जिसके बाद देश में हड़कंप मच गया. बैंकों और एटीएम के बाहर पैसे निकालने वालों की लंबी-लंबी कतारें नजर आने लगीं. पीएम मोदी ने हालात को नियंत्रण में करने के लिए 50 दिन का समय मांगा था लेकिन डेढ़ साल बीत जाने के बाद भी स्थिति जस की तस है. इतने समय बाद भी देश में पैसों की कमी है. कई राज्यों में एटीएम खाली पड़े हुए हैं. लोगों के पास पैसे नहीं हैं.
This is a financial emergency. PM Modi had said that everything will be fine in 50 days, but it has now been more than 1.5 years, and there is still a cash crunch: Derek O'Brien, TMC pic.twitter.com/Q02MLdDMUL
— ANI (@ANI) April 17, 2018
दूसरी ओर कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने भी कैश की किल्लत पर सरकार पर तंज कसा. कांग्रेस व अन्य विपक्षी दल लगातार कैश के संकट को लेकर सरकार पर निशाना साध रहे हैं. वहीं मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान इसे सरकार के खिलाफ साजिश करार दे रहे हैं. सीएम चौहान ने कहा, ‘16.5 लाख करोड़ नोट छापे गए और मार्केट में सर्कुलेट हो चुके हैं, लेकिन 2000 के नोट कहां जा रहे हैं? कौन लोग नकदी संकट जैसा माहौल बनाने की कोशिश कर रहे हैं? देश में नकदी संकट पैदा करने की साजिश चल रही है और राज्य सरकार सख्त कदम उठाएगी. हम केंद्र सरकार के संपर्क में हैं.’
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