Tejashwi Yadav Yatra in Bihar: आरजेडी नेता और लालू प्रसाद यादव के छोटे बेटे तेजस्वी यादव गुरुवार को बेरोजगारी हटाओ आरक्षण बढ़ाओ यात्रा लॉन्च करेंगे. अगले दो दिनों में यह यात्रा सुपौल और दरभंगा से होकर गुजरेगी.
पटना. लालू प्रसाद यादव की गैरमौजूदगी में राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) की बागडोर संभाल रहे तेजस्वी यादव गुरुवार को उत्तरी बिहार के दरभंगा में बेरोजगारी हटाने और कोटा बढ़ाने को लेकर एक रैली करेंगे. तेजस्वी के इस कार्यक्रम का नाम बेरोजगारी हटाओ आरक्षण बढ़ाओ यात्रा है. सुपौल और भागलपुर जिलों को भी अगले दो दिन में यह यात्रा निकलेगी. बिहार विधानसभा में तेजस्वी नेता प्रतिपक्ष हैं.
सिलसिलेवार ट्वीट में उन्होंने कहा, एससी, एसटी और ओबीसी वर्ग के लिए 90 फीसदी आरक्षण होना चाहिए. मुझे समझ नहीं आता कि 10 प्रतिशत आरक्षण आर्थिक पिछड़ेपन पर क्यों दिया गया, जबकि किसी वर्ग ने न तो इसकी मांग की थी और न ही किसी आयोग या सर्वे में यह बात सामने आई. तेजस्वी यादव ने ट्वीट में जातीय जनगणना कराने, जातीय अनुपात में आरक्षण बढ़ाने, एससी/एसटी और ओबीसी के लिए आरक्षण 90 प्रतिशत, अतिपिछड़ों के लिए 40 प्रतिशत आरक्षण और निजी क्षेत्रों में आरक्षण की मांग की.
कल दरभंगा से “बेरोज़गारी हटाओ, आरक्षण बढ़ाओ” यात्रा की शुरुआत होगी।
* जातीय जनगणना करवाओ
* जातीय अनुपात में आरक्षण बढ़ाओ
* SC/ST और OBC का आरक्षण बढ़ाकर 90% करो।
* अतिपिछड़ों को 40% आरक्षण दो
* निजी क्षेत्र में आरक्षण लागू करोआर-पार करेंगे, लड़ेंगे-मरेंगे और हक़ लेकर रहेंगे। pic.twitter.com/OuEXT2zVk9
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) February 6, 2019
बहुजन वर्षों से 50% फ़ीसदी आरक्षण की सीलिंग बढ़ाने की माँग कर रहे थे लेकिन जातिवादियों ने ना बढ़ाया और ना ही बढ़ने दिया लेकिन सवर्ण आरक्षण बिन माँगे चंद घंटों में दे दिया। भाजपा- RSS द्वारा ये आरक्षण समाप्ति की शुरुआत है। बहुजनों, जागो, उठो और लड़ो इन जातिवादियों से.. pic.twitter.com/kNkYi1mG2E
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) February 6, 2019
चारा घोटाले में सजा काट रहे लालू यादव की गैरमौजूदगी में तेजस्वी यादव लगातार नीतीश कुमार सरकार पर हमलावर हैं. आगामी बिहार विधानसभा चुनाव में वे मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार हैं. साल 2015 में उन्होंने नीतीश कुमार की जेडीयू के साथ गठबंधन कर चुनाव लड़ा था, जिसके बाद वे बिहार के डिप्टी सीएम बने थे. लेकिन उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के मामलों के कारण नीतीश कुमार ने गठबंधन तोड़ लिया और बीजेपी के साथ मिलकर सरकार बना ली. डिप्टी सीएम रहते हुए उनके पास भवन निर्माण और लघु जल संसाधन जैसे मंत्रालय थे.
Sharda Chit Fund Case : ममता बनर्जी को क्यों है मोदी सरकार से दुश्मनी