सांसदों को देखकर तिलमिला गए उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू, बोले- यह संसद है, बाजार नहीं

संसद में बजट सत्र का दूसरा चरण खासा हंगामे के बीच बीत रहा है. पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) में हुए महाघोटाले, आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग को लेकर तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के सांसदों का हंगामा और अब लेनिन, पेरियार, श्यामा प्रसाद मुखर्जी और बीआर अंबेडकर की मूर्तियां तोड़े जाने को लेकर बुधवार को संसद के दोनों सदनों में घमासान मचा. सांसदों के हंगामा करने पर राज्यसभा के सभापति वेंकैया नायडू ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा, 'यह कोई तरीका नहीं है. यह संसद है, बाजार नहीं.'

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सांसदों को देखकर तिलमिला गए उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू, बोले- यह संसद है, बाजार नहीं

Aanchal Pandey

  • March 7, 2018 4:17 pm Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago

नई दिल्लीः संसद में बजट सत्र का दूसरा चरण जोरदार हंगामे के साथ शुरू हुआ था. पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) में हुए महाघोटाले, आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग को लेकर तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के सांसदों का हंगामा और अब लेनिन, पेरियार, श्यामा प्रसाद मुखर्जी और बीआर अंबेडकर की मूर्तियां तोड़े जाने को लेकर बुधवार को संसद के दोनों सदनों में घमासान मचा. राज्‍यसभा के सभापति वेंकैया नायडू सांसदों के हंगामा करने से बेहद नाराज नजर आए. सांसदों को शांत कराते हुए उन्होंने कहा, ‘मूर्तियां तोड़ने वाले मैड और यहां हंगामा करने वाले बैड.’ सांसदों के हंगामा करने पर नाराजगी जाहिर करते हुए उन्होंने कहा, ‘यह कोई तरीका नहीं है. यह संसद है, बाजार नहीं.’

सोमवार से बजट सत्र के दूसरे चरण की शुरूआत जोरदार हंगामे से हुई. एक ओर विपक्ष जहां पीएनबी में हुए महाघोटाले पर हंगामा कर रहा था तो दूसरी ओर टीडीपी के सांसद बजट में आंध्र प्रदेश की अनदेखी से नाराज होकर राज्य को विशेष राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग पर अड़े रहे. सोमवार और मंगलवार को हंगामे के बीच दोनों सदनों की कार्यवाही स्थगित करनी पड़ी. बुधवार को एक बार फिर पीएनबी घोटाला, आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा दिए जाने की मांग के साथ-साथ देश में मूर्तियां तोड़े जाने पर मचे बवाल पर हंगामा शुरू हो गया.

राज्यसभा में सभापति वेंकैया नायडू सांसदों को शांत कराते नजर आए. सांसदों के ऐसा व्यवहार करने पर एक वक्त के लिए वह तिलमिला उठे. उन्होंने नाराजगी जताते हुए कहा, ‘यह कोई तरीका नहीं है. यह संसद है, बाजार नहीं.’ लोकसभा में तो शिवसेना सांसद मराठी को शास्त्रीय भाषा का दर्जा देने की मांग को लेकर हंगामा करते हुए वेल तक आ गए. दूसरी ओर बुधवार को अन्नाद्रमुक सांसदों ने भी कावेरी जल प्रबंधन बोर्ड के गठन की मांग को लेकर खासा हंगामा किया. कांग्रेस और तृणमूल कांग्रेस के सांसद पीएनबी घोटाले पर पीएम मोदी से बयान की मांग कर रहे हैं. भारी हंगामे के बीच इन तीन दिनों में दोनों सदनों की कार्यवाही कई बार स्‍थगित करनी पड़ी है.

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