जयपुर: राजस्थान पूरे उत्तर भारत में सूखे के लिए पहचाना जाता है। लेकिन राजस्थान में भी इस बार मई के महीने में भारी बारिश हुई है। ये बारिश इतनी तेज थी कि इसने पिछले 100 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया। राजस्थान में इस महीने 62.4 मिमी बारिश हुई जो पिछले 100 वर्षों में इस महीने […]
जयपुर: राजस्थान पूरे उत्तर भारत में सूखे के लिए पहचाना जाता है। लेकिन राजस्थान में भी इस बार मई के महीने में भारी बारिश हुई है। ये बारिश इतनी तेज थी कि इसने पिछले 100 सालों का रिकॉर्ड तोड़ दिया। राजस्थान में इस महीने 62.4 मिमी बारिश हुई जो पिछले 100 वर्षों में इस महीने की सबसे अधिक बारिश है। राजस्थान में आमतौर पर मई के महीने में करीब 13.6 मिमी बारिश होती है। लेकिन इस बार कुल 62.4 मिमी बारिश दर्ज की गई है।
बता दें कि मई आज से पहले साल 1917 में राजस्थान में 71.9 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई थी। आज के मौसम की बात करें तो मौसम विभाग ने बीकानेर, अजमेर, जोधपुर, भरतपुर संभाग और जयपुर में आंधी और बारिश की उम्मीद जताई है। शनिवार और रविवार को और बारिश और ठंडक देखने को मिलेगी। बारिश का यह सिलसिला 5 और 6 जून तक देखने को मिल सकता है। विभाग ने कहा कि सात और आठ जून से तापमान में बढ़ोतरी के आसार है।
इसी बीच मौसम से जुड़ी एक और जानकारी आपको बता देते हैं। मानसून क्या है? मानसून एक मौसमी हवा है जो बारिश लाती है, मानसून वह हवा है जो अरब सागर से भारत के दक्षिण-पश्चिमी तट की ओर आती है। जिससे भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश आदि में भारी वर्षा होती है। ये मौसमी हवाएँ हैं जो दक्षिण एशियाई क्षेत्र में जून से सितंबर तक यानी चार महीने तक सक्रिय रहती हैं। दूसरे शब्दों में, मानसून शब्द का उपयोग वर्षा के उस चरण को शामिल करने के लिए किया जाता है जो मौसमी रूप से बदलते पैटर्न के साथ होता है।
बता दें कि भारतीय मौसम विभाग ने कहा था कि मानसून 4 जून को केरल आ सकता है। IMD के अनुसार, इस साल केरल में मानसून की शुरुआत बाकी दिनों से थोड़ा देर से हो सकती है। बताया जा रहा है कि केरल में 4 जून से मानसून की शुरुआत हो सकती है। जानकारी के लिए बता दें, यह तारीख एक दम सटीक नहीं होती है। इसमें 4 दिन आगे या पीछे होने की उम्मीद बनी रहती है।