लखनऊ: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एक बुजुर्ग दंपत्ति की याचिका पर सुनवाई करते हुए गंभीर टिप्पणी की है। दरअसल, 80 साल के एक पति ने अपनी 75 साल की पत्नी की गुजारा भत्ता की मांग के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है जिसे देखकर मामले की सुनवाई कर रहे जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी ने भी […]
लखनऊ: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने एक बुजुर्ग दंपत्ति की याचिका पर सुनवाई करते हुए गंभीर टिप्पणी की है। दरअसल, 80 साल के एक पति ने अपनी 75 साल की पत्नी की गुजारा भत्ता की मांग के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है जिसे देखकर मामले की सुनवाई कर रहे जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी ने भी हैरानी जताई।
रिपोर्ट के मुताबिक, गुजारा भत्ता के लिए एक-दूसरे से कानूनी लड़ाई लड़ रहे इस बुजुर्ग दंपत्ति को देखकर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मंगलवार को सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि ऐसा लगता है कि कलयुग आ गया है। इस बुजुर्ग दंपत्ति के मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस सौरभ श्याम शमशेरी ने उन्हें नसीहत देने की भी कोशिश की। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि ऐसा लगता है कि कलयुग आ गया है। इस तरह की कानूनी लड़ाई चिंता का विषय है। अलीगढ़ निवासी मुनेश कुमार गुप्ता ने अपनी पत्नी की गुजारा भत्ता की मांग के खिलाफ इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी।
आपको बता दें पारिवारिक न्यायालय ने गुजारा भत्ता की मांग वाली उनकी याचिका पर अपना फैसला सुनाते हुए उनकी 75 वर्षीय पत्नी के पक्ष में फैसला सुनाया था। गायत्री देवी ने फैमिली कोर्ट में याचिका दाखिल की और कहा कि पति की पेंशन करीब 35 हजार रुपए है। उन्होंने आजीविका के लिए हर महीने 15 हजार रुपये दिए जाने की मांग की लेकिन फैमिली कोर्ट ने 16 फरवरी को अपने आदेश में 5 हजार गुजारा भत्ता देने के लिए कहा। पति ने इसे हाई कोर्ट में चुनौती दी जिस पर अब सुनवाई चल रही है।
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