नई दिल्ली: जेडीयू मंत्री अशोक चौधरी के एक ट्वीट के बाद बिहार में नेताओं की प्रतिक्रिया जारी है. वहीं अब अशोक चौधरी के ट्वीट पर मंगलवार (24 सितंबर) को उपेंद्र कुशवाहा ने बड़ा बयान दिया है. राष्ट्रीय लोक मोर्चा के अध्यक्ष और राज्यसभा सांसद उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा है कि अशोक चौधरी का ट्वीट बेहद […]
नई दिल्ली: जेडीयू मंत्री अशोक चौधरी के एक ट्वीट के बाद बिहार में नेताओं की प्रतिक्रिया जारी है. वहीं अब अशोक चौधरी के ट्वीट पर मंगलवार (24 सितंबर) को उपेंद्र कुशवाहा ने बड़ा बयान दिया है. राष्ट्रीय लोक मोर्चा के अध्यक्ष और राज्यसभा सांसद उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा है कि अशोक चौधरी का ट्वीट बेहद आपत्तिजनक है. नीतीश कुमार की उम्र का इससे क्या लेना-देना? बिहार के लिए नीतीश कुमार का योगदान इतना महान रहा है कि इतिहास उन्हें हमेशा याद रखेगा.
कुशवाहा ने कहा कि नीतीश कुमार आज भी बिहार के विकास के लिए दिन-रात काम कर रहे हैं. अगर कोई उनकी उम्र का हवाला देकर इस तरह ताना मारता है तो ये बिल्कुल गलत है. व्यक्तिगत तौर पर मुझे यह काफी आपत्तिजनक लगता है. बाद में अशोक चौधरी जो सफाई दे रहे हैं, वो भी हमने देखी. सफाई का कोई साधन नहीं. अगर बात तीर-कमान से निकले तो सफाई देने का क्या मतलब? उन्होंने जो कुछ कहा वह लोगों के सामने है. नीतीश कुमार ने पहले भी बिहार का विकास किया है और आगे भी दिन-रात मेहनत कर रहे हैं. अगर कोई नीतीश कुमार पर इस तरह तंज कसेगा तो मेरे जैसा व्यक्ति कभी उसका समर्थन नहीं करेगा.
पत्रकारों के इस सवाल पर कि क्या श्याम रजक की पार्टी (जेडीयू) में एंट्री से उनकी (अशोक चौधरी) बेचैनी बढ़ गई है? इस पर उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि अब देखिए किस बात से उनकी बेचैनी बढ़ गई है, ये तो वही जानेंगे. वही शुरुआती दौर में पार्टी बनाने में उनका (अशोक चौधरी) कोई योगदान नहीं था. नीतीश कुमार ही उस पार्टी के सबकुछ हैं. नीतीश कुमार पार्टी को अपने हिसाब से चलाना चाहते हैं, लेकिन निजी तौर पर अगर कोई नीतीश कुमार के बारे में ऐसी बात करता है तो हम इसे उचित नहीं कहेंगे.
उपेन्द्र कुशवाहा ने कहा कि अशोक चौधरी खुद ऐसा करते थे कि लगता था कि उनसे ज्यादा करीबी नीतीश कुमार का कोई नहीं है. वही बतायेंगे कि आज तक क्या है और क्या नहीं है. अभी जदयू के अंदर क्या चल रहा है, यह पार्टी का मामला है, मुझे नहीं पता. जो सामने आया, जो हमने देखा और ट्वीट्स के आधार पर हम अपने विचार व्यक्त कर रहे हैं। हम कैसे बता सकते हैं कि जदयू को कार्रवाई करनी चाहिए या नहीं? वह पार्टी का मामला है. जी हां, ट्वीट के जरिए जो भी कहा गया है वह किसी को पसंद नहीं आएगा.
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