Mulayam Singh Yadav 80th Birthday: समाजवादी पार्टी के नेता और सपा से लोकसभा सांसद मुलायम सिंह यादव का 22 नवंबर को जन्मदिन है. यह उनका 80वां जन्मदिन है और इस बार का जन्मदिन मुलायम को हमेशा-हमेशा याद रहने वाला है. दरअसल इस बार समाजवादी पार्टी के मुखिया और मुलायम के बेटे अखिलेश यादव और सपा से अलग होकर अपना अलग दल (प्रगतिशील समाजवादी पार्टी) बना चुके मुलायम के भाई शिवपाल सिंह यादव में उनका जन्मदिन मनाने को होड़ मची हुई है.
लखनऊः Mulayam Singh Yadav 80th Birthday: समाजवादी पार्टी (सपा) नेता और लोकसभा सांसद मुलायम सिंह यादव 22 नवंबर को 80 साल के हो जाएंगे. मुलायम के बेटे और पार्टी अध्यक्ष अखिलेश यादव और सपा से अलग हो चुके मुलायम के भाई शिवपाल सिंह यादव के बीच ‘नेताजी’ का जन्मदिन मनाने को लेकर होड़ मची हुई है. दोनों इस दिन को पार्टी के शक्ति प्रदर्शन के रूप में ले रहे हैं. दरअसल शिवपाल यादव सपा से अलग होकर अपना दल प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) बना चुके हैं और यह जगजाहिर है कि अपने भतीजे अखिलेश यादव से उनकी जरा भी बनती नहीं है और उनके पार्टी के बाहर होने का बड़ा कारण अखिलेश ही थे.
मुलायम सिंह यादव अपने समय पर पहलवान थे. प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (लोहिया) के अध्यक्ष शिवपाल यादव अपने बड़े भाई की पसंद-नापसंद को बखूबी जानते हैं और इसी का फायदा उठाते हुए उन्होंने 22 नवंबर को सैफई में मुलायम के जन्मदिन के मौके पर विशाल ‘दंगल’ का आयोजन किया है. मुलायम के जन्मदिन को पूरे सूबे में मनाने को लेकर शिवपाल कहते हैं कि पूरे राज्य में मुलायम का जन्मदिन धूमधाम से मनाया जाएगा. खासकर सैफई, लखनऊ और इटावा में विशेष कार्यक्रमों का आयोजन किया गया है. शिवपाल कहते हैं कि उनकी पार्टी ने इस दिन को ‘धर्मनिरपेक्षता दिवस’ के तौर पर मनाने का फैसला किया है.
वहीं दूसरी ओर अखिलेश यादव की समाजवादी पार्टी भी इस बार मुलायम सिंह यादव के जन्मदिन को यादगार बनाने की बात कह रही है. सपा प्रवक्ता राजेंद्र चौधरी ने कहा कि सपा के संस्थापक मुलायम सिंह यादव 3 बार उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री रह चुके हैं. वह देश के रक्षा मंत्री भी रहे हैं और मौजूदा समय में आजमगढ़ लोकसभा सीट से सांसद हैं. पार्टी ने अपने जिला और शहरी इकाइयों के प्रमुखों को धूमधाम से नेताजी का जन्मदिन मनाने का निर्देश दिया है. बहरहाल देखने वाली बात यह होगी कि मुलायम सिंह यादव अपने जन्मदिन के मौके पर भाई और बेटे में से किसे चुनते हैं यानी मुलायम उस दिन शिवपाल के साथ खड़े दिखेंगे या फिर बेटे को आशीर्वाद देते हुए, यह तो 22 नवंबर की तारीख ही तय करेगी.
बताते चलें कि शिवपाल सिंह यादव की पार्टी ने 2019 में होने जा रहे लोकसभा चुनाव में राज्य की 79 सीटों पर चुनाव लड़ने का ऐलान किया है. 1 सीट उन्होंने मुलायम सिंह यादव के लिए छोड़ी है यानी जिस सीट से मुलायम चुनावी मैदान में उतरेंगे वहां से पसपा (लोहिया) अपना उम्मीदवार नहीं उतारेगी. शिवपाल यादव 9 दिसंबर को लखनऊ के रमाबाई अंबेडकर मैदान में बहुजन मुक्ति पार्टी के साथ एक संयुक्त रैली करने की भी घोषणा कर चुके हैं. लोकसभा चुनाव से पहले बन रहे सियासी समीकरणों को देखा जाए तो कहीं न कहीं शिवपाल यादव अपने कद को भुनाते हुए अखिलेश यादव को चुनावी मैदान में कड़ी चुनौती देने का मन बना चुके हैं.