नई दिल्ली, राजधानी दिल्ली के बाद अब गाज़ियाबाद में भी मंकीपॉक्स ने दस्तक दे दी है. बता दें, ग़ाज़ियाबाद में मंकीपॉक्स के दो संदिग्ध मामले सामने आए हैं. फिलहाल, दोनों के सैंपल्स को जांच के लिए पुणे भेजा गया है, अधिकारियों का कहना है कि सैंपल्स की जांच के बाद ही कोई आधिकारिक बयान दिया […]
नई दिल्ली, राजधानी दिल्ली के बाद अब गाज़ियाबाद में भी मंकीपॉक्स ने दस्तक दे दी है. बता दें, ग़ाज़ियाबाद में मंकीपॉक्स के दो संदिग्ध मामले सामने आए हैं. फिलहाल, दोनों के सैंपल्स को जांच के लिए पुणे भेजा गया है, अधिकारियों का कहना है कि सैंपल्स की जांच के बाद ही कोई आधिकारिक बयान दिया जाएगा.
देश में अब तक मंकीपॉक्स वायरस के चार मामले सामने आ चुके हैं. अभी तक 77 देशों तक ये वायरस फैल चुका है, विश्व स्वास्थ्य संगठन ने भी इसके बढ़ते मामलों को देखते हुए इसे हेल्थ इमरजेंसी घोषित कर दिया है. अब इस बीच सभी के मन में सिर्फ एक सवाल है कि आखिर इस बात का पता कैसे चलेगा कि किसी को मंकीपॉक्स है. अब भारत की ही कंपनी Genes2Me ने एक ऐसा RT-PCR टेस्ट तैयार किया है जिससे 50 मिनट के भीतर इसके सटीक परिणाम आ जाएंगे.
कंपनी ने दावा किया है ये टेस्ट सिर्फ और सिर्फ मंकीपॉक्स के लिए डेवलप किया गया है. इस टेस्ट के जरिए 50 मिनट से कम समय में बताया जा सकेगा कि कोई शख्स इस वायरस से संक्रमित है या नहीं. कंपनी ने जोर देकर कहा है कि इस किट का इस्तेमाल एयरपोर्ट, अस्पताल, स्वास्थ्य शिवरों में स्क्रीनिंग के दौरान किया जा सकता है, जिससे मंकीपॉक्स का पता लगाया जा सके. टेस्टिंग के लिए सूखे स्वैब और स्वैब दोनों का इस्तेमाल किया जाएगा. Genes2Me के सीईओ नीरज गुप्ता के मुताबिक वे वर्तमान संसाधनों के साथ एक हफ्ते के अंदर 50 हज़ार परीक्षण किट बना सकते हैं, लेकिन अगर उन्हें पर्याप्त संसाधन दिए जाएं और समय मिले तो उनकी कंपनी एक दिन में 20 लाख किट्स भी बना सकती है.
यहां ये जानना भी जरूरी है कि फिलहाल ये टेस्ट किट मार्केट में नहीं आया है. सिर्फ रिसर्च के लिए ही इसका इस्तेमाल किया जा रहा है, जब तक ICMR इस टेस्ट किट को हरी झंडी नहीं दिखा देता, तब तक मंकीपॉक्स को लेकर Genes2Me का आरटी-पीसीआर टेस्ट मार्केट में नहीं उतारा जा सकता.