लखनऊ। पूर्वांचल के सबसे बड़े माफिया मुख्तार अंसारी की मौत के तीन महीने से ज्यादा का समय बीत चुका है। मुख़्तार के मौत मामले में परिवार शुरू से ही जहर देने का आरोप लगा रहा है। इसे लेकर सुप्रीम कोर्ट में भी सुनवाई की याचिका डाली गई। सोमवार (15 जुलाई) को सुप्रीम कोर्ट ने मामले […]
लखनऊ। पूर्वांचल के सबसे बड़े माफिया मुख्तार अंसारी की मौत के तीन महीने से ज्यादा का समय बीत चुका है। मुख़्तार के मौत मामले में परिवार शुरू से ही जहर देने का आरोप लगा रहा है। इसे लेकर सुप्रीम कोर्ट में भी सुनवाई की याचिका डाली गई। सोमवार (15 जुलाई) को सुप्रीम कोर्ट ने मामले की सुनवाई की। मुख़्तार के बेटे उमर अंसारी की तरफ से कपिल सिब्बल वकील हैं। उन्होंने अदालत में जेल में हुई मौत पर सवाल उठाया।
सुनवाई के दौरान कपिल सिब्बल ने कोर्ट में कहा कि मुख़्तार अंसारी को जेल में जहर दिया गया। इसका जांच होना जरूरी है। मुख़्तार ने पहले ही जेल में अपनी जान को खतरा बताया था। जस्टिस हृषिकेश रॉय और एसवीएन भट्टी की पीठ ने मामले की सुनवाई करते हुए योगी सरकार को नोटिस जारी किया। उमर अंसारी ने पहले ही अपने पिता की जान को खतरा बताया था।
बता दें कि मुख्तार अंसारी पिछले 19 साल से जेल में बंद था। अन्तर्राज्यीय गैंग 191 के सरगना मुख्तार को 25 अक्टूबर 2005 में जेल भेजा गया था। उसके खिलाफ उत्तर प्रदेश, दिल्ली और पंजाब में 65 मुकदमे दर्ज हैं. साल 2017 में यूपी में योगी सरकार के आने से पहले वो पंजाब की रोपड़ जेल में बंद था, उसे वापस उत्तर प्रदेश लाने के लिए योगी सरकार सुप्रीम कोर्ट गई थी। जिसके बाद उसे बांदा जेल में शिफ्ट किया गया था।