नई दिल्ली, हनुमान जयंती के दिन दिल्ली के जहांगीरपुरी में हुई हिंसा को लेकर अब कई एंगल निकल कर सामने आ रहे हैं. जहां सुरक्षा एजेंसियां खरगोन और करोली की हिंसा को दिल्ली हनुमान जयंती हिंसा से जोड़कर मामले को खंगालने का प्रयास कर रही है. जहांगीरपुरी में हिंसा शनिवार हनुमान जयंती के दिन दिल्ली […]
नई दिल्ली, हनुमान जयंती के दिन दिल्ली के जहांगीरपुरी में हुई हिंसा को लेकर अब कई एंगल निकल कर सामने आ रहे हैं. जहां सुरक्षा एजेंसियां खरगोन और करोली की हिंसा को दिल्ली हनुमान जयंती हिंसा से जोड़कर मामले को खंगालने का प्रयास कर रही है.
शनिवार हनुमान जयंती के दिन दिल्ली के जहांगीरपुरी इलाके में शोभायात्रा निकाल रहे लोगों के जुलूस और दूसरे समुदाय के बीच हिंसक झड़प हो गयी. जिसमें 9 लोग घायल हुए. इसमें 8 पुलिस कर्मी के साथ-साथ एक आमजन भी शामिल है. पुलिस ने आगजनी और पथराव की बात को कबूला साथ ही दिल्ली पुलिस आयुक्त राकेश अस्थाना ने दंगाइयों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की चेतावनी देते हुए बताया कि अब स्थिति नियंत्रण में है. जहांगीरपुरी और अन्य संवेदनशील क्षेत्रों में अतिरिक्त सुरक्षा कर्मियों को तैनात किया गया है. और मामले में कुल 14 लोगों की गिरफ्तारी भी की गयी है.
मध्य प्रदेश के खरगोन शहर में रामनवमी के जुलूस में पथराव और आगजनी की घटना सामने आयी थी. जहां हिंसक झड़प के बाद पूरे शहर में कर्फ्यू लगा दिया गया था. पुलिस कर्मी समेत कुल 24 लोगों के घायल होने की खबर थी जहाँ कार्रवाई में. कुल 84 लोगों को गिरफ्तार भी कर लिया गया था. बाद में आरोपियों के घरों पर प्रशासन का बुलडोज़र भी चलाया गया था. कमिश्नर पवन शर्मा ने बताया था कि खरगोन के पुलिस अधीक्षक सिद्धार्थ चौधरी को हिंसा में गोली लगी.
हिंदू नववर्ष के उपलक्ष्य में करौली, राजस्थान में बाइक रैली निकाली जा रही थी. ये रैली जब मुस्लिम बहुल क्षेत्र से गुजर रही थी उस समय कुछ उपद्रवियों ने पथराव किया. इसके बाद हिंसा भड़क गई. दुकानों और बैंकों के आगजनी की भी घटना सामने आयी. कई दुकानें और वाहन और अन्य सामान क्षतिग्रस्त हो गए. तनाव के बाद शनिवार को कर्फ्यू लगाया गया था जो अब तक जारी है. पूरी घटना में कुल 35 लोग घायल हो गए थे.
रामनवमी के दिन राजस्थान के करौली शहर में हुई हिंसा, फिर मध्यप्रदेश में खरगोन और अब दिल्ली में जहांगीरपुरी का पथराव. तीनों में जो हिंसा हुई उसमें सुनियोजित तरीके से माहौल बिगाड़ने की कोशिश की गयी. सुरक्षा एजेंसियां इस एंगल की भी जांच कर रही है क्या देश में सांप्रदायिक माहौल खराब करने के लिए बड़े पैमाने पर साजिश रची गयी. सूत्रों के मुताबिक इन सभी दंगों में समानता पाई गई है, यानी जुलूस निकल रहे जुलूस पर छतों से पत्थरबाजी करना और आगजनी आदि. अब दिल्ली की हिंसा पर सीधे केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह की नज़र है. जहां पुलिस जहांगीरपुरी में हुए दंगे की प्रारंभिक रिपोर्ट गृह मंत्रालय को सौंप सकती है.
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