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दोस्त दोस्त ना रहा! हरियाणा में कांग्रेस की हार के बाद शिवसेना से लेकर AAP तक ने सुनाई खरी खोटी

नई दिल्ली: मगंलवार को हरियाणा और जम्मू कश्मीर में चुनाव परिणाम घोषित हुए। जम्मू कश्मीर में तो नैशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस की सरकार बनना तय हुआ, तो वहीं हरियाणा में चमत्कार सा देखने को मिला। हरियाणा में शुरुआती रुझानों में कांग्रेस को बहुमत से ज्यादा सीटें मिल रही थी मगर कुछ ही पलों में बाजी […]

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Rahul and Kejriwal
  • October 9, 2024 7:45 am Asia/KolkataIST, Updated 3 months ago

नई दिल्ली: मगंलवार को हरियाणा और जम्मू कश्मीर में चुनाव परिणाम घोषित हुए। जम्मू कश्मीर में तो नैशनल कांफ्रेंस और कांग्रेस की सरकार बनना तय हुआ, तो वहीं हरियाणा में चमत्कार सा देखने को मिला। हरियाणा में शुरुआती रुझानों में कांग्रेस को बहुमत से ज्यादा सीटें मिल रही थी मगर कुछ ही पलों में बाजी पलटी और 48 सीटें बीजेपी के खाते में चली गई। शाम तक हरियाणा एग्जिट पोल और पोल पंडितों को गलत साबित करते हुए प्रदेश में बीजेपी की सरकार बनने ऐलान किया गया। कांग्रेस को हार से बड़ा झटका लगा है। अब इंडिया गठबंधन के घटक दल उन्हें खरी खोटी सुना रहे हैं।

क्या कहा केजरीवाल ने?

आप के पार्षदों को संबोधित करते हुए केजरीवाल ने कहा, देखिए हरियाणा में चुनाव के नतीजे से सबसे बड़ी सीख यह है कि चुनाव में किसी को भी अति आत्मविश्वास नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा, किसी भी चुनाव को हल्के में नहीं लेना चाहिए। हर चुनाव और हर सीट मुश्किल होती है। हरियाणा में AAP सीट बंटवारे को लेकर मतभेद के कारण कांग्रेस के साथ चुनाव पूर्व गठबंधन करने में विफल रही थी।

शिवसेना ने दी यह सलाह

शिवसेना (यूबीटी) नेता प्रियंका चतुर्वेदी ने कहा कि हरियाणा चुनाव के नतीजों का महाराष्ट्र पर कोई असर नहीं पड़ेगा, जहां अगले महीने चुनाव होने की संभावना है। हालांकि, उन्होंने जोर देकर कहा कि कांग्रेस को अपनी चुनावी रणनीति पर पुनर्विचार करना चाहिए, क्योंकि हरियाणा में भाजपा के खिलाफ सीधी लड़ाई में कांग्रेस उम्मीद से कम प्रदर्शन कर सकती है।

सीपीआई महासचिव डी. राजा ने कहा कि कांग्रेस को हरियाणा के चुनाव नतीजों पर गंभीरता से आत्ममंथन करना चाहिए और महाराष्ट्र और झारखंड में होने वाले आगामी चुनावों में विपक्षी गठबंधन इंडिया के सभी सहयोगियों को साथ लेकर चलना चाहिए।

कांग्रेस ने जवाब दिया

इस बीच, हरियाणा विधानसभा चुनाव में हार के बाद कांग्रेस ने मंगलवार को महाराष्ट्र में अपने सहयोगियों को गठबंधन धर्म की याद दिलाते हुए कहा कि वह लोकसभा चुनाव में राज्य में सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी है। रमेश ने कहा, “मैं याद दिलाना चाहता हूं कि लोकसभा चुनाव में महाराष्ट्र में कांग्रेस पहले स्थान पर थी। गठबंधन का एक धर्म होता है। हमारे बीच जो भी होता है, हम एक-दूसरे से बात करते हैं, मीडिया के जरिए नहीं।”

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