लखनऊ: यूपी में योगी सरकार की मुश्किल बढ़ती हुई नजर आ रहीं है। अलीगढ़ में चीनी मिलों के किसान विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। किसानों का आरोप है कि योगी सरकार ने उनके साथ वादाखिलाफी की है। उनका कहना है 2022 के विधानसभा चुनावों में सीएम योगी ने इन चीनी मिलों के नवीनीकरण की बात […]
लखनऊ: यूपी में योगी सरकार की मुश्किल बढ़ती हुई नजर आ रहीं है। अलीगढ़ में चीनी मिलों के किसान विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। किसानों का आरोप है कि योगी सरकार ने उनके साथ वादाखिलाफी की है। उनका कहना है 2022 के विधानसभा चुनावों में सीएम योगी ने इन चीनी मिलों के नवीनीकरण की बात कही थी पर लंबे समय से ये चीनी मिलें बंद पड़ी हैं। किसानों ने सरकारी अधिकारियों पर आपस में 35 लाख रूपये बांट कर बरौली स्थित थाथा चीनी मिल को बंद करवाया है।
किसान नेताओं का कहना है कि जिस तरह से चीनी मिल बंद हुई है, उससे हजारों किसानों ने अपनी जमीनें बेचना शुरू कर दिया है। पहले आस-पास के किसानों द्वारा बड़ी मात्रा में गन्ने की खेती की जाती थी, लेकिन जब से चीनी मिल बंद हुई है, तब से किसानों द्वारा गन्ना नहीं उगाया जा रहा है।
इस चीनी मिल के संस्थापक पूर्व निर्दलीय विधायक केशव देव हरियाणा थे। उनके बेटे संजीव हरियाणा ने बताया कि उनके पिता ने इस मिल की स्थापना इसलिए की थी, ताकि पूरे मंडल के किसानों को फायदा मिल सके, लेकिन अब कुछ ही किसान गन्ना उगा रहे हैं। क्योंकि जब गन्ना निकाल लिया जाता है, तो उन्हें अपनी फसल का पूरा पैसा भी नहीं मिलता।
संजीव हरियाणा ने कहा कि इस मिल को खुलवाने के लिए वह किसी भी हद तक जाने को तैयार हैं और जब तक यह चीनी मिल चालू नहीं हो जाती, तब तक चैन से नहीं बैठेंगे। उन्होंने कहा कि आज मेरे पिता की आत्मा रो रही होगी और योगी सरकार को कोस रही होगी, जिन भ्रष्ट अधिकारियों ने इस चीनी मिल को बंद कराया है, उनके खिलाफ कार्रवाई होनी चाहिए।
धरने पर मौजूद किसान नेता ठाकुर शैलेंद्र सिंह ने मांग की है कि अगर किसानों की मांगें जल्द पूरी नहीं की गईं तो अलीगढ़ जिला कलेक्ट्रेट से विधानसभा तक बड़ा प्रदर्शन किया जाएगा। योगी आदित्यनाथ की वादाखिलाफी का नतीजा उपचुनाव के साथ-साथ 2027 के चुनाव में भी देखने को मिलेगा।