Prayagraj: प्रयागराज में प्राथमिक विद्यालय के अधिकारियों की लापरवाही का नतीजा ये हुआ कि साढ़े तीन साल के बच्चे को आधे घंटे से अधिक समय तक स्कूल के अंदर बंद रहना पड़ा, जबकि स्टाफ समय से पहले स्कूल बंद करके चला गया था। जब स्थानीय लोगों ने बच्चे की चीखें सुनीं तो उन्होंने उसे बाहर […]
Prayagraj: प्रयागराज में प्राथमिक विद्यालय के अधिकारियों की लापरवाही का नतीजा ये हुआ कि साढ़े तीन साल के बच्चे को आधे घंटे से अधिक समय तक स्कूल के अंदर बंद रहना पड़ा, जबकि स्टाफ समय से पहले स्कूल बंद करके चला गया था। जब स्थानीय लोगों ने बच्चे की चीखें सुनीं तो उन्होंने उसे बाहर निकाला।
बच्चा सोमवार को अपनी बड़ी बहन के साथ स्कूल आया था, जो कक्षा 4 की छात्रा है। जिस कक्षा में वह पढ़ रही थी, उसके बगल में एक स्टोर रूम है। बच्चा खेलते-खेलते स्टोर रूम में चला गया था, बाद में स्टाफ ने स्कूल बंद कर दिया और बच्चे को वहीं छोड़ दिया। बहन को लगा कि उसका छोटा भाई घर चला गया है, तो वह भी घर चली गई।
सूत्रों का कहना है कि बच्चों के लिए स्कूल बंद होने का समय दोपहर 2:00 बजे है और शिक्षकों के लिए 2:30 बजे। लेकिन शिक्षक दोपहर 2:00 बजे से पहले ही चले गए।
हालांकि, दोपहर करीब 2:15 बजे एक स्थानीय युवक स्कूल के पास से गुजर रहा था, तभी उसने उसकी चीखें सुनीं। उसने मदद के लिए दूसरे लोगों को बुलाया और करीब आधे घंटे बाद ही स्कूल का स्टाफ सदस्य, जो पास के गांव में रहता है, आया और उसने बच्चे को बाहर निकाला।
प्रयागराज के बीएसए प्रवीण कुमार तिवारी ने कहा, “कार्यवाहक प्रिंसिपल को निलंबित कर दिया गया है और जांच बैठा दी गई है। स्थानीय लोगों ने फंसे हुए बच्चे का वीडियो भी बनाया जो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया।” प्रिंसिपल पॉलिटेक्निक में ड्यूटी पर हैं, इसलिए कार्यवाहक प्रिंसिपल को निलंबित कर दिया गया है।
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