जयपुर। राजस्थान के गैंगस्टर राजू ठेठ के हत्याकांड मामले में पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है। इस हत्या के बाद से ही सीकर में पुलिस एक्शन मोड में आ गई थी। जिसके बाद उनके हाथ बड़ी सफलता लगी और इस हत्याकांड के पांच आरोपीयों को हिरासत में लिया गया है। हथियार और कारतूस भी बरामद […]
जयपुर। राजस्थान के गैंगस्टर राजू ठेठ के हत्याकांड मामले में पुलिस को बड़ी कामयाबी मिली है। इस हत्या के बाद से ही सीकर में पुलिस एक्शन मोड में आ गई थी। जिसके बाद उनके हाथ बड़ी सफलता लगी और इस हत्याकांड के पांच आरोपीयों को हिरासत में लिया गया है।
बता दें कि राजस्थान के सीकर में गैंगस्टर राजू ठेठ की हत्या कर दी गई थी। जिसके बाद से स्थानीय पुलिस एक्शन मोड में आ गई है। रविवार यानी आज पुलिस को बड़ी सफलता हाथ लगी है और उन्होंने इस हत्याकांड से जुड़े 5 आरोपियों को पकड़ लिया है। इनके पास से हथियार और कारतूस भी बरामद किए गए हैं। इससे पहले पुलिस ने डाबला गांव से भी दो आरोपियों को पकड़ा था।
राजू ठेठ… अपराध की दुनिया में ये नाम काफी पुराना है. राजू ठेठ का आतंक गैंगस्टर आनंदपाल सिंह के अपराध की दुनिया में आने से पहले का है. हालांकि आनंदपाल सिंह पुलिस एनकाउंटर में मारा गया था. राजू ठेठ के नाम का इस्तेमाल राजस्थान में रंगदारी और अन्य अपराधों को लेकर भी धड़ल्ले से किया जाता है. अपना खौफ कायम करने के लिए राजू ठेठ ने ये तरीका अपनाया था कि वह जब भी कहीं निकलता था तो उसके चारों ओर बंदूक लिए गुर्गे उसे घेरे चलते थे. ऐसे में वह अपने दुश्मनों को भी साफ़ कर देता था कि उनकी तरफ देखा तो तुम्हारे जिस्म के टुकड़े-टुकड़े हो जाएंगे.
राजू ठेठ की अपराध की दुनिया में एंट्री 25 साल पहले यानी 1995 में हुई. उस समय सीकर जिले का एसके कॉलेज, शेखावाटी की राजनीति का केंद्र था. इस कॉलेज में बीजेपी के छात्र संगठन एबीवीपी के कार्यकर्ता गोपाल फोगावट का काफी दबदबा था. गोपाल शराब के धंधे से जुड़ा था जिस कारन राजू ठेठ भी गोपाल की शरण में आ गया. गोपाल की शरण में आने के बाद राजू ने साये में शराब का धंधा भी शुरू कर दिया।