फरीदाबाद, केंद्र की नई घोषित सेना भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ के खिलाफ विरोध प्रदर्शन ने गुरुवार को बहुत ही आक्रमक रुख ले लिया. गुस्साए युवाओं ने योजना को वापस लेने की मांग करते हुए सड़कों पर विरोध प्रदर्शन किया. हजारों प्रदर्शनकारियों ने हरियाणा के पलवल शहर को घेर लिया और डीसी कार्यालय और आवास पर हमला […]
फरीदाबाद, केंद्र की नई घोषित सेना भर्ती योजना ‘अग्निपथ’ के खिलाफ विरोध प्रदर्शन ने गुरुवार को बहुत ही आक्रमक रुख ले लिया. गुस्साए युवाओं ने योजना को वापस लेने की मांग करते हुए सड़कों पर विरोध प्रदर्शन किया. हजारों प्रदर्शनकारियों ने हरियाणा के पलवल शहर को घेर लिया और डीसी कार्यालय और आवास पर हमला कर दिया. हिंसक भीड़ ने पुलिसकर्मियों को घायल किया और पुलिस वाहनों को भी फूंक दिया. कई रिपोर्ट्स में कहा गया है कि प्रदर्शनकारियों ने कम से कम 5 पुलिस गाड़ियों को फूंका है.
पुलिस ने हालात पर काबू पाने के लिए बल प्रयोग किया और प्रसाशन ने इलाके में इंटरनेट सेवा बंद कर दी. इसपर अधिकारियों ने बताया कि ‘अग्निपथ’ योजना के खिलाफ पलवल में प्रदर्शनकारियों ने उपायुक्त कार्यालय के सामने विरोध प्रदर्शन किया और NH19 को ब्लॉक कर दिया.
केंद्र सरकार, राज्य सरकार भले ही ये कह रही है कि विभिन्न मंत्रालयों, अर्धसैनिक बलों में अग्निवीरों को प्राथमिकता दी जाएगी लेकिन युवा इससे संतुष्ट नहीं हैं. उनकी सबसे बड़ी चिंता यही है कि चार साल बाद उन्हें सेवा से मुक्त कर दिया जाएगा तब वे क्या करेंगे. ये छात्र इन बातों से भी नाराज हैं कि सेना की अबतक जो भर्ती प्रक्रिया चली आ रही थी, उसके तहत अब भी कई ऐसे लोग हैं जिनका फिजिकल होने के बावजूद उन्हें सेना की नौकरी नहीं मिली है.
बिहार समेत कई राज्यों के छात्र अग्निपथ स्कीम के नियमों पर नाराज हैं, उनका कहना है कि अग्निपथ स्कीम में चार साल के कॉन्ट्रैक्ट में सेना में भर्ती किया जाएगा. फिर उन्हें अनिवार्य सेवानिवृत्ति (रिटायरमेंट) दे दी जाएगी और ग्रैजुटी या पेंशन जैसे लाभ भी नहीं मिलेंगे जो कि उनकी नजर में ठीक नहीं है.
देश में अग्निपथ स्कीम को लेकर प्रदर्शन कर रहे छात्र बेहद गुस्से में नजर आए. प्रदर्शनकारी छात्रों का कहना है कि हम सेना में जाने के लिए बहुत कड़ी मेहनत करते हैं. इसे चार साल के लिए सीमित कैसे किया जा सकता है? जिसमें ट्रेनिंग के दिन और छुट्टियां भी शामिल हों? सिर्फ तीन साल की ट्रेनिंग के बाद हम देश की सुरक्षा कैसे कर सकते हैं? सरकार को इस स्कीम को वापस लेना चाहिए या इसमें बदलाव करने चाहिए. वहीं, अन्य लोगों का ये भी कहना है कि वे चार साल के बाद काम करने कहां जाएंगे? चार साल की सर्विस के बाद वे लोग बेघर हो जाएंगे. इसलिए वे लोग सड़कों पर उतरे हैं. प्रदर्शनकारी ने कहा कि देश के नेताओं को समझना होगा कि जनता जागरूक है.
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