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अंतिम यात्रा पर निकले आचार्य सत्येंद्र दास, ढोल-नगाड़ा बजाते ले जा रहे श्रद्धालु, दी जाएगी जल समाधि

राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास अपनी अंतिम यात्रा पर निकल चुके हैं। सरयू घाट पर उनका पार्थिव शरीर अंतिम दर्शन के लिए रखा जाएगा। इसके बाद जल समाधि दी जाएगी।

Acharya Satyendra Das
inkhbar News
  • February 13, 2025 1:36 pm Asia/KolkataIST, Updated 1 month ago

नई दिल्ली। अयोध्या राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास अपनी अंतिम यात्रा पर निकल चुके हैं। सरयू घाट पर उनका पार्थिव शरीर अंतिम दर्शन के लिए रखा जाएगा। इसके बाद जल समाधि दी जाएगी। अयोध्या सांसद अवधेश प्रसाद और राज्यमंत्री सतीश शर्मा ने आज सुबह जाकर उन्हें श्रद्धांजलि दी। संत समाज के लोग भी पुष्पांजलि अर्पित करने पहुंचे।

अंतिम विदाई देने उमड़े लोग

दोपहर में उनका पार्थिव शरीर रथ पर रखा गया और बैंड-बाजा के साथ रवाना हो गया। अयोध्या के लोग उन्हें अंतिम बार प्रणाम करने के लिए गलियों में उमड़ पड़े। लोग उनके ऊपर पुष्पवर्षा करते हुए ले गए। सरयू के किनारे हजारों लोग अंतिम दर्शन के लिए खड़े हैं। पूरी जिंदगी प्रभु राम को समर्पित कर देने वाले आचार्य सत्येंद्र दास के निधन से अयोध्या में शोक की लहर है।

1992 में बने राम मंदिर के पुजारी

आचार्य सत्येंद्र दास साल 1992 से राम जन्म भूमि के मुख्य पुजारी बने। इससे पहले वह संस्कृत के एक शिक्षक थे। 1992 में जब वह राम जन्मभूमि के पुजारी बने उस दौरान भगवान राम टेंट में थे। जब बाबरी मस्जिद गिराई गई तो रामलला को लेकर वही भागे थे। आचार्य सत्येंद्र दास रामलला की सेवा बालक की तरह करते थे। आचार्य सत्येंद्र दास अपने पैसे से भगवान की सेवा करते थे। सत्येंद्र दास के परिवार में अब सिर्फ उनके भाई बचे हैं। पर्व-त्योहार पर वो अपने घर जाते थे।

 

 

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