जम्मू. उधमपुर आतंकवादी हमले के बाद जिंदा पकड़ा गया आतंकी मोहम्मद नवेद याकूब ने बताया कि उसके साथ घुसपैठ करने वाला लश्कर का एक आतंकवादी बाजारों को निशाना बनाने के मिशन पर आया था, लेकिन आखिरी वक्त में वह हिचक गया.
पूछताछ के दौरान नवेद ने कहा कि दोनों उस चार सदस्यीय लश्कर टीम का हिस्सा थे, जो जून में गुलमर्ग सेक्टर से घाटी में आ घुसी थी और पड़ोसी सांबा जिले के बारी ब्राह्मणा गई थी. वहां एक बाजार को निशाना बनाया जाना था, जहां सेना के लोग आते जाते रहते हैं. वहां समीप में एक सैन्य प्रतिष्ठान भी है. नवेद और अबू ओकासा 20 जुलाई को जम्मू शहर के बाहरी इलाके में अपने लक्ष्य के करीब पहुंच गए थे, लेकिन 17 साल अबू अचानक चिल्लाने लगा. इसके बाद पूरा प्लान बिगड़ गया.