लखनऊ. उत्तर प्रदेश में चौधरी अजीत सिंह की पार्टी राष्ट्रीय लोकदल का नीतीश कुमार की पार्टी जेडीयू के साथ गठबंधन हो गया है. बीएस-फोर के नेताओं नें भी इनके साथ गठबंधन का ऐलान किया है. बता दें की रालोद का पश्चिमी उत्तर प्रदेश में खासा प्रभाव है. ये तीनों पार्टियां उत्तर प्रदेश का होने वाला अगला विधानसभा चुनाव मिलकर लड़ेंगी.
इसके पहले अजीत सिंह की पार्टी का सपा के साथ गठबंधन होने की बात चल रही थी लेकिन मुलायम सिंह के साथ कई बैठकें होने के बाद भी गठबंधन नहीं हो पाया. बता दें कि जैसे-जैसे विधानसभा चुनाव नजदीक आ रहा है यूपी में राजनीतिक सरगर्मियां तेज होती जा रही हैं. इसी के साथ आरोप प्रत्यारोप का दौर भी शुरु हो गया है.
इन दोनों पार्टियों का गठबंधन हो जाने के बाद यूपी में महागठबंधन बनाने की संभावनाएं भी खत्म हो गईं हैं क्योंकि जदयू के बिना गठबंधन नहीं बन सकता. सपा के अकेले चुनाव लड़ने के ऐलान के बाद ही महागठबंधन बनाने की कोशिशें खत्म हो गईं थीं.
गठबंधन ऐलान के इस मौके पर राज्यसभा सांसद शरद यादव और जदयू के सांसद के.सी. त्यागी भी मौजूद थे. शरद यादव ने कहा कि मुलायम सिंह कि वजह से महागठबंधन नहीं बन पाया जबकि हम सब चाहते थे कि सभी लोग सांप्रदायिक ताकतों के खिलाफ एकजुट हों लेकिन ऐसा नहीं हो पाया.
बता दें कि पिछले वर्ष बिहार विधासभा का चुनाव सपा, जेडीयू, राजद, कांग्रेस और समाजवादी पार्टी ने महागठबंधन बनाकर चुनाव लड़ने का ऐलान किया था लेकिन बाद में मुलायम सिंह ने महागठबंध से खुद को अलग कर लिया था उनका कहना था कि जितनी सीटें उन्हें मिलनी चाहिए उतनी नहीं मिल रही हैं.