नई दिल्ली. दिवाली के बाद से दिल्ली-एनसीआर में धुएं से हर कोई परेशान है. इस कारण स्कूलों में एक दिन की छुट्टी तक की गई थी. बारिश न होने और हवा न चलने से स्थितियां और खराब हैं.
वहीं, शनिवार को राजधानी में प्रदूषण का स्तर सामान्य से चार से पांच गुना ज्यादा रिकॉर्ड किया गया. मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि हवा न चलने से पटाखों के धुएं, कचरे में आग और पड़ोसी राज्यों में पराली जलाए जाने से फैला धुंआ एक हफ्ते बाद वातावरण में मौजूद है.
पॉश इलाके खतरे में
सिस्टम आॅफ एयर क्वालिटी एंड वेदर फॉर कास्टिंग एंड रिसर्च के मुताबिक शनिवार को पार्टिकुलेट मैटर (पीएम) 2.5 का स्तर 355 माइक्रोग्राम क्यूबिक मीटर और पीएम 10 का स्तर 482 रिकॉर्ड हुआ है. यह स्थिति 13 नवंबर तक बनी रह सकती है. अनुमान है कि सात नवंबर के बाद हवा चलेगी और इससे आंशिक राहत ही मिल पाएगी.
दिल्ली में फैले धुएं से पॉश इलाके खतरनाक स्थिति में हैं. आनंद विहार, आरके पुरम और पंजाबी बाग शनिवार को डेंजर जोन में शामिल हो गए. इन इलाकों में सामान्य से करीब 11 से 17 गुना ज्यादा प्रदूषण पाया गया है.
होने लगी है ठंड
वहीं, दिल्ली में ठंड भी महसूस की जाने लगी है. सफदरजंग स्थित मौसम विज्ञान केंद्र पर अधिकतम तापमान सामान्य से एक डिग्री सेल्सियस कम 28.9 डिग्री और न्यूनतम तापमान सामान्य से एक डिग्री सेल्सियस ज्यादा 15.4 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड हुआ है.
प्रदूषण के बढ़ते स्तर पर नियंत्रण पाने के लिए उपराज्यपाल नजीब जंग ने सोमवार को उच्च स्तरीय बैठक बुलाई है. इस बैठक में मुख्यमंत्री सहित संबंधित मंत्री और विभागीय अधिकारियों को बुलाया गया है.