नई दिल्ली. इस साल 18 अगस्त को पूरे देश में रक्षाबंधन की धूम रहेगी. हर साल की तरह इस बार भी बहन भाई के कलाई पर राखी बांधेगी, तिलक लगाएगी और आरती उतारेगी. भाई भी अपनी बहन की रक्षा का संकल्प लेगा.
वैसे यह बात हर कोई जानता है कि राखी या कलावा कलाई पर ही बांधा जाता है, लेकिन यह बहुत कम लोग ही जानते हैं कि आखिर कलाई पर ही राखी क्यों बांधी जाती है. आज हम आपको इसके तीन महत्वपूर्ण कारण बताएंगे जिनसे आप अब तक अनजान थे.
इस बार राखी बांधने का शुभ मुहूर्त
18 अगस्त 2015
1. आध्यात्मिक कारण- कलाई पर रक्षा-सूत्र बांधने से ब्रह्मा, विष्णु और महेश तथा लक्ष्मी, सरस्वती और दूर्गा की कृपा प्राप्त होती है. ब्रह्मा की कृपा से कीर्ति, विष्णु कृपा से सुरक्षा और महेश की कृपा से सभी दूर्गुणों का नाश होता है. लक्ष्मी की कृपा से धन-दौलत, सरस्वती की कृपा से बुद्धि-विवेक तथा दूर्गा की कृपा से शक्ति की प्राप्त होती है.
2. आयुर्वेदिक कारण- आयुर्वेद के अनुसार शरीर की प्रमुख नसें कलाई से होकर गुजरती है जो कलाई से ही नियंत्रित भी होती हैं. कलाई पर रक्षासूत्र बांधने से त्रिदोष (वात, पित्त, कफ़) का नाश होता है. इसके अलावा इससे लकवा, डायबिटीज़, हृदय रोग, ब्लड-प्रेशर जैसे रोगों से भी सुरक्षा होती है.
3. मनोवैज्ञानिक कारण- रक्षासूत्र बांधने से मनुष्य को किसी बात का भय नहीं सताता है. मानसिक शक्ति मिलती है. मनुष्य गलत रास्तों पर जाने से बचता है. मन में हमेशा शांति और पवित्रता बनी रहती है.