नई दिल्ली. उत्तराखंड में 2013 में आई जलप्रलय झेलने के बाद भी ज्यों का त्यों खड़े रहे केदारनाथ मंदिर की मजबूती को लेकर पहली बार आशंका जाहिर की गई है. आईआईटी चेन्नई की रिपोर्ट में बताया गया है कि मंदिर की नींव अब कमजोर हो गई है. इससे मंदिर के अगले हिस्से की दीवार में सूक्ष्म झुकाव आ गया है.
रिपोर्ट में सभा मंडप की छत को भी कमजोर बताया गया है. मंदिर का संरक्षण कर रहे भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण (एएसआई) ने नींव को सुरक्षित बनाने के लिए परिसर के फर्श को वाटरप्रूफ बनाने का काम शुरू कर दिया है. एएसआई के देहरादून स्थित क्षेत्रीय कार्यालय की अधीक्षण पुरातत्वविद लिली धस्माना के मुताबिक मंदिर की नींव को पानी से बचाने का सुझाव आईआईटी चेन्नई ने दिया है.