नई दिल्ली: प्रश्नकाल में आज सवाल दो राज्यों का और सवाल उन्हीं दो राज्यों के पूर्व मुख्यमंत्रियों से. एक उत्तर प्रदेश के अखिलेश यादव और दूसरे बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव.
यूपी में सियासत की ज़मीन यूं खिसकी कि अखिलेश सरकार धराशायी हो गई लेकिन अब सियासी ज़मीन नहीं लेकिन कब्रिस्तान की ज़मीन सवालों के घेरे में है. दूसरी तरफ़ लालू यादव का पूरा परिवार ही मालामाल कैसे होता चला गया इसका सवाल.
जब से योगी सरकार आई है अखिलेश सरकार के फैसले और प्रोजेक्ट दोनों सवालों के घेरे में हैं. योगी सरकार के मंत्रियों की मानें तो कई कई सौ करोड़ के घोटाले हुए हैं जो जांच के बाद सामने आते चले जाएंगे. ताज़ा विवाद कब्रिस्तान की चारदीवारी बनाने और उनके सौंदर्यीकरण को लेकर है.
एक तरफ लालू यादव की सियासी ज़मीन तो नहीं खिसकी लेकिन परिवार के पास ज़मीन और ज़मीन पर बनी इमारतों की जो बेनामी संपत्ति है वो सवालों के घेरे में है. आज लालू यादव की बेटी मीसा भारती से 6 घंटे पूछताछ भी हुई है. दोनों ही नेताओं पर उठ रहे सवालों का एक्स रे करेंगे लेकिन शुरुआत यूपी से.
यूपी चुनावों के वक्त आपको याद होगा कि कब्रिस्तान और श्मशान का मुद्दा उठा था. सूबे की अखिलेश सरकार ने कहा था कि उन्होंने राज्य भर के कब्रिस्तान की चारदीवारी खड़ी की है और उनका सौंदर्यीकरण किया है. लेकिन अब कुछ और ही हकीकत सामने आ रही है. क्यों 1300 करोड़ के घोटाले का सवाल खड़ा हो रहा है? क्यों कब्रिस्तान की चारदीवारी और उनका सौंदर्यीकरण अखिलेश यादव के लिए मुसीबत की ज़मीन तैयार कर सकता है.