ऑपरेशन ब्लैकबोर्ड: पीलीभीत के सरकारी स्कूल की टीचर बोलीं यहां तो ऐसे ही होता है….

स्कूलों में आपके-हमारे बच्चे क्या पढ़ रहे हैं इसकी जानकारी आपको हम सबको होनी चाहिए. ये जानने से पहले हमारी कोशिश है कि उन टीचरों के बारे में जाने, उनके ज्ञान की तहकीकात करें जिनको बच्चों के भविष्य निर्माण का जिम्मा सौंपा गया है.

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ऑपरेशन ब्लैकबोर्ड: पीलीभीत के सरकारी स्कूल की टीचर बोलीं यहां तो ऐसे ही होता है….

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  • May 6, 2017 5:37 pm Asia/KolkataIST, Updated 8 years ago

नई दिल्ली: स्कूलों में आपके-हमारे बच्चे क्या पढ़ रहे हैं इसकी जानकारी आपको हम सबको होनी चाहिए. ये जानने से पहले हमारी कोशिश है कि उन टीचरों के बारे में जाने, उनके ज्ञान की तहकीकात करें जिनको बच्चों के भविष्य निर्माण का जिम्मा सौंपा गया है.

यूपी में शिक्षा के स्तर का सच हमने टटोलने की कोशिश की है. ऑपरेशन ब्लैक बोर्ड की अगली कड़ी में देखिए क्या है. स्कूल की इमारत चमक रही है. क्लास का हाल भी ठीक है. लेकिन क्लासरूम के अंदर की तस्वीर देखिए.इंडिया न्यूज़ का कैमरा जहां-जहां पहुंचा, वहां ये बड़ी समस्या दिखी है जहां बच्चे स्कूल नहीं आते कभी फसल कटाई का बहाना, कभी गांव में शादी तो अब बाजार का चक्कर.

ये किसकी जिम्मेदारी है. यहां टीचर नहीं बच्चों के मात-पिता जिम्मेदार हैं. अब आपको पीलीभीत के क्योलारा स्कूल ले चलते हैं. इस स्कूल की इमारत और क्लासरूम चमक रही थीं, लेकिन जैसे ही हम क्लास में घुसे, तो चौंक गए. बच्चों के साथ टीचर की स्कूटी भी क्लासरूम में ही थी.

ये स्कूल हमारे रियलिटी चेक में पास हो गया. अब बारी पीलीभीत के हरदासपुर गांव के स्कूल की थी. यहां क्लास खुली थी, टीचर मौजूद थे, लेकिन बच्चे नदारद. इस स्कूल में पहली और दूसरी क्लास एक-साथ थी. ऐसा टीचर्स की कमी को दूर करने के लिए किया गया. लेकिन जो टीचर मौजूद हैं, वो बच्चों को क्या पढ़ा रहे हैं.

योगी सरकार ने नए सत्र के लिए स्कूली बैग्स बंटवाना शुरू कर दिया है. नए टीचर्स की भर्ती प्रक्रिया भी जल्द शुरू की जानी है, लेकिन सवाल है क्या इतना काफी है. कई स्कूल तो ऐसे हैं, जहां टीचर हैं, लेकिन बच्चे नहीं और कुछ स्कूलों को सामान रखने का कमरा बना दिया है.

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