नई दिल्ली : चीन के सैनिकों ने एक बार फिर बॉर्डर पर घुसपैठ की नाकाम कोशिश की. डोकलाम में सारे दांव बेकार हो गए तो चीन ने लद्दाख में लड़ाई शुरू कर दी है. चीनी सैनिकों ने लद्दाख में दो इलाकों में जबर्दस्ती घुसने की कोशिश की और जब भारत के जवानों ने विरोध किया तो चीन के सैनिक बौखला गए और पत्थरबाजी शुरू कर दी. जवाब में भारत के जवानों ने भी चीन के सैनिकों पर जमकर पत्थर बरसाए.
लेकिन भारतीय जवानों ने चीनी सैनिकों का डटकर सामना किया. अचानक हुए इस हमले के बावजूद हमारे जवान वहां से तब तक नहीं हिले जब तक चीनी सैनिक पीछे नहीं हट गए. करीब आधे घंटे तक चीन के सैनिक इसी तरह पत्थर बरसाते रहे. भारतीय जवानों से मारपीट करते रहे. इस झड़प में दोनों देशों के सैनिकों को हल्की चोटें आईं.
चीन के पत्थरबाज सैनिकों को तो भारत के जवानों ने मुंहतोड़ जवाब दिया जिसके बाद चीनी सैनिक पीछे हट गए, लेकिन धोखेबाज चीन अब हिंदुस्तान के बॉर्डर इलाकों में अब तक की सबसे बड़ी साजिश रची है. वो भारत के खिलाफ वॉटर बम का इस्तेमाल करने की चाल चल रहा है.
दरअसल हिंदुस्तान में बाढ़ के जबरदस्त प्रहार से हाहाकार मचा हुआ है. असम में बाढ़ से अब तक 40 लोगों की जान जा चुकी है. करीब 33 लाख से भी ज्यादा लोग बेघर हो चुके हैं और पूर्वोत्तर की ओर जाने वाली सभी ट्रेनें 20 अगस्त तक रद्द कर दी गई हैं.
जानकारों का कहना है कि असम में ऐसी तबाही तभी मुमकिन है जब चीन से जल प्रहार हो. असम समेत पूर्वोत्तर के राज्यों को बाढ़ का सबसे ज्यादा खतरा ब्रह्मपुत्र और सतलुज नदियों से रहता है. ये दोनों नदियां तिब्बत से निकलती हैं और वहां से बहती हुई भारत में आती हैं. आरोप ये है कि चीन ने इस बार ब्रह्मपुत्र और सतलुज नदी में आए प्रचंड पानी की जानकारी भारत को नहीं दी.