September 17, 2024
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Mahashivratri 2024: कब है महाशिवरात्रि, जानिए शुभ मुहूर्त और पूजा की विधि

  • WRITTEN BY: Shiwani Mishra
  • LAST UPDATED : February 21, 2024, 1:03 pm IST

नई दिल्ली: महाशिवरात्रि का महापर्व भगवान शंकर और माता पार्वती के विवाह उत्सव के रूप में मनाया जाता है, और पंचांग के मुताबिक हर साल फाल्गुन माह की चतुर्दशी के दिन महाशिवरात्रि का त्योहार मनाया जाता है, और इस साल महाशिवरात्रि का त्योहार 8 मार्च को मनाया जाएगा. 8 मार्च को ग्रह योग सर्वथसिद्धि और शिवयोग के शुभ संयोग में महाशिवरात्रि का पर्व मनाया जा रहा है. ऐसे में आइए जाने की साल 2024 में महाशिवरात्रि की तिथि, शुभ मुहूर्त और पूजा विधि के बारे में…

महाशिवरात्रि की तिथि और पूजा मुहूर्तMaha Shivratri 2020: know shiva pooja vidhi shubh muhurat timings mantra  shiv chalisa arti Mahashivratri Images photos Messages pics - महाशिवरात्रि  2020: 117 सालों बना ऐसा योग, जानें शिवरात्रि पूजा विधि ...

पंचांग के अनुसार फाल्गुन कृष्ण पक्ष की चतुर्दशी तिथि का प्रारंभ 8 मार्च को रात्रि 9 बजकर 57 मिनट पर हो रहा है. हम आपको सूचित करते हैं कि ये अगले दिन, 9 मार्च को 18:17 बजे समाप्त होगा. भगवान शिव की पूजा प्रदोष काल में की जाती है इसलिए उदया तिथि का पालन करने की आवश्यकता नहीं होती है और ऐसे में इस साल महाशिवरात्रि व्रत 8 मार्च 2024 को मनाया जाएगा. दरअसल 8 मार्च यानी महाशिवरात्रि के दिन भगवान शिव की पूजा शाम 6:25 बजे से रात 9:28 बजे तक ही होती है. इसके साथ ही इन 4 प्रहर का मुहूर्त कुछ इस प्रकार है……

महाशिवरात्रि 2024 शुभ मुहूर्त

रात्रि प्रथम प्रहर पूजा – शाम 06 बजकर 25 मिनट से रात 09 बजकर 28 मिनट तक
रात्रि द्वितीय प्रहर पूजा – रात 09 बजकर 28 मिनट से 9 मार्च को रात 12 बजकर 31 मिनट तक
रात्रि तृतीय प्रहर पूजा – रात 12 बजकर 31 मिनट से प्रातः 03 बजकर 34 मिनट तक
रात्रि चतुर्थ प्रहर पूजा – प्रात: 03.34 से प्रात: 06:37

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1. महाशिवरात्रि के दिन सुबह उठकर स्नान आदि करके पूरी श्रद्धा के साथ भगवान शिव-शंकर के आगे व्रत का संकल्प करिए.
2. संकल्प के बाद उपवास की समय पूरा करने के लिए शिव जी का आशीर्वाद लें.
3. इसके साथ ही आप व्रत किस तरह से रखेंगे यानी कि फलाहार या फिर निर्जला भी ये संकल्प लें सकते है.
4. उसके बाद शुभ मुहूर्त में पूजा प्रारंभ करें.
5.बेलपत्र, भांग, और धतूरा भोलेनाथ का बेहद पसंदीदा चढ़ावा है.
6. इसलिए 3 बेलपत्र, भांग, धतूरा, जायफल, कमल गट्टे, फल, मिष्ठान, मीठा पान, इत्र और दक्षिणा चढ़ाएं.
7. इन सबके बाद केसर युक्त खीर का भोग लगा कर प्रसाद जरूर बांटें.

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