श्राद्ध: पितरों के मरणोपरांत आत्मा की शांति के लिए पितृ पक्ष में श्राद्ध, तर्पण करना बेहद अहम माना गया है. दरअसल ऐसा करने से आपके पितरों को स्वर्ग मिलता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि कुछ चीजों का तर्पण पूर्वजों के लिए इतना शुभ माना गया हैं कि यदि मृत्यु के समय ये चीजें […]
श्राद्ध: पितरों के मरणोपरांत आत्मा की शांति के लिए पितृ पक्ष में श्राद्ध, तर्पण करना बेहद अहम माना गया है. दरअसल ऐसा करने से आपके पितरों को स्वर्ग मिलता है. लेकिन क्या आप जानते हैं कि कुछ चीजों का तर्पण पूर्वजों के लिए इतना शुभ माना गया हैं कि यदि मृत्यु के समय ये चीजें पास हों तो मृतक को स्वर्ग मिलता है.
इतना ही नहीं, गरुड़ पुराण में भी इन चीजों का तर्पण बेहद शुभ माना गया है. गरुड़ पुराण के मुताबिक अगर मरने के समय ये चीजें मृतक के पास में हों तो परिवार को श्राद्ध कर्म करने की भी जरूरत नहीं होती है. ऐसा इसलिए क्योंकि कहा जाता है कि ये चीजें मृतक के लिए स्वर्ग के द्वार खोलती हैं. चलिए जानते हैं कि मान्यता के अनुसार वो कौन सी चीजें हैं, जिनका मृत्यु के समय पास में होना काफी शुभ माना गया है.
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ऐसा कहा जाता है कि यदि मरते समय मृतक के आसपास तुलसी का पौधा रखा हो तो ये काफी शुभ माना जाता है. इसके साथ ही अगर मृतक के मुंह व माथे पर तुलसी के पत्ते या मंजरियां रख दी जाएं तो कहा जाता है कि मृतक कभी यमलोक नहीं जाता है. ऐसा करने से मरने वाले लिए स्वर्ग के रास्ते खुल जाते हैं.
हमारे हिंदू धर्म की मान्यता के अनुसार, गंगाजल बेहद ही पवित्र जल है. ऐसे में व्यक्ति की जब मरने वाला हो तो उसके मुंह में गंगाजल जरूर डाल देना चाहिए. ऐसा करने से मृतक के सभी पाप नष्ट होते हैं और वह सीधे स्वर्गलोक जाता है. इसके साथ ही ऐसा भी माना जाता है कि गंगा में अस्थियां विसर्जित करने के बाद जब तक अस्थियां गंगा में रहती हैं तब तक व्यक्ति स्वर्ग के सुख भोगता है.
तिल एक ऐसी चीज है जिसका श्राद्ध पक्ष में खास महत्व माना गया है. आप मृतक से काला तिल मिले जल का तर्पण करा सकते है. ऐसा इसलिए क्योंकी मरने वाले व्यक्ति से अगर काली तिल का दान करवा दिया जाए तो उस व्यक्ति से असुर, दैत्य, बुरी आत्मा व शक्तियां हमेशा दूर रहती हैं. इसके साथ ही मृतक के सिरहाने भी काली तिल रख देना चाहिए.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी ज्योतिष व लोक मान्यताओं पर आधारित है. इस खबर में शामिल सूचना और तथ्यों की सटीकता, संपूर्णता के लिए इनख़बर किसी भी प्रकार की पुष्टि नहीं करता है.)