नई दिल्ली: रमजान का पवित्र महीना अब खत्म होने को आया.आज शुक्रवार, 5 अप्रैल को रमजान का पच्चीसवां रोजा अकीदत के साथ मुकम्मल हुआ. रोजेदारों ने पच्चीवें रोजे पर सहरी और इफ्तार कर अल्लाह का शुक्रिया अदा किया. बीते 25 दिनों से रोजेदार नेकी और ईमान के साथ रोजा रख रहे हैं.
अब कल 6 अप्रैल को छब्बीसवां रोजा रखा जाएगा. जैसे-जैसे रमजान का महीना खत्म होते जा रहा है ईद की घड़ी भी नजदीक आ रही है. कहा जाता है कि जिस दिन 26वां रोजा होता है, इस तारीख को रमजान की सत्ताईसवीं रात होती है. इस रात को शबे-कद्र यानी अल्लाह की मेहरबानी की खास रात कहा जाता है.
हदीस ए नबवी के अनुसार
‘हदीस ए नबवी’ के अनुसार शबे-कद्र को रमजान की तीसरे अशरे यानी अंतिम कालखंड की रात कहा गया है. रमजान के 26वें रोजे के दिन भी रोजेदार सुबह सहरी करने के बाद रोजा की शुरुआत करेंगे और इसके बाद शाम में इफ्तार की जाएगी. रमजान में रोजेदारों का हर रोजा मुकम्मल हो इसके लिए यह बेहद जरूरी है कि रोजेदार सही समय पर सहरी और इफ्तार करें.
आइये जानते हैं रमजान के 26वें रोजे के लिए क्या है सहरी-इफ्तार का समय. कल यानी शनिवार, 06 अप्रैल को मुंबई, दिल्ली, लखनऊ, आगरा, नागपुर, हैदराबाद, कोलकाता, जयपुर, रांची और समेत अन्य शहरों में क्या है सहरी-इफ्तार का समय {Sehri-Iftar Timing}