नई दिल्ली. नवरात्र हिन्दुओं का विशेष पर्व है, इस पावन अवसर पर मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा-आराधना की जाती है. इसलिए यह पर्व नौ दिनों तक मनाया जाता है, वेद-पुराणों में मां दुर्गा को शक्ति का रूप माना गया है जो पाप का नाश करती हैं, नवरात्र के समय मां के भक्त उनसे […]
नई दिल्ली. नवरात्र हिन्दुओं का विशेष पर्व है, इस पावन अवसर पर मां दुर्गा के नौ रूपों की पूजा-आराधना की जाती है. इसलिए यह पर्व नौ दिनों तक मनाया जाता है, वेद-पुराणों में मां दुर्गा को शक्ति का रूप माना गया है जो पाप का नाश करती हैं, नवरात्र के समय मां के भक्त उनसे अपने सुखी जीवन और समृद्धि की कामना करते हैं. नवरात्र एक साल में चार बार मनाई जाती है, नवरात्रि में कई जगहों पर मेलों का भी आयोजन किया जाता है.
नवरात्रि के दौरान मां के भक्त भारत वर्ष में फैले मां के शक्ति पीठों के दर्शन करने जाते हैं, इसे शारदीय नवरात्री भी कहते हैं. हिंदू पंचांग के अनुसार, नवरात्रि अश्विन मास के शुक्ल पक्ष की प्रतिपदा से नवमी तक मनायी जाती है, इस बार नवरात्रि का महापर्व 26 सितंबर, सोमवार से शुरू होगा और 5 अक्टूबर, बुधवार तक देश भर में मनाया जाएगा. फिर दसवें दिन दुर्गा मां की प्रतिमा का विसर्जन कर दिया जाता है.
आश्विन नवरात्रि की शुरुआत सोमवार, सितम्बर 26, 2022 से हो रही है.
प्रतिपदा तिथि सितम्बर 26, 2022 को सुबह 03 बजकर 23 मिनट से शुरू होगी और सितम्बर 27, 2022 को सुबह 03 बजकर 08 मिनट पर समाप्त होगी.
आश्विन घटस्थापना सोमवार, सितम्बर 26, 2022 को की जाएगी.
घटस्थापना का शुभ मुहूर्त सुबह 06 बजकर 28 मिनट से 08 बजकर 01 मिनट तक रहेगा. ध्यान रखें कलशस्थापना के लिए आपके पास सिर्फ 01 घण्टा 33 मिनट का समय रहेगा.
नवरात्रि की पूजा सामग्री में माँ दुर्गा की प्रतिमा अथवा चित्र, लाल चुनरी, आम की पत्तियाँ, चावल, जौ के बीच, मिट्टी का बर्तन, दुर्गा सप्तशती की किताब, लाल कलावा, गंगा जल, चंदन, नारियल, कपूर, गुलाल, सुपारी, पान के पत्ते, लौंग, इलायची ज़रूर शामिल करें.