Badaiyo : बदायूं Election 2022 – उत्तर प्रदेश का चुनावी माहौल पूरी तरह गर्म हो चुका है । एक तरफ जहां नेता दल बदल में लगे हुए हैं । वही कुछ ऐसे भी हैं जो इस दल बदल की प्रणाली से परेशान भी हैं। लोगों के सवाल और जवाब उन्हें देना भारी पड़ रहे हैं। […]
Election 2022 – उत्तर प्रदेश का चुनावी माहौल पूरी तरह गर्म हो चुका है । एक तरफ जहां नेता दल बदल में लगे हुए हैं । वही कुछ ऐसे भी हैं जो इस दल बदल की प्रणाली से परेशान भी हैं। लोगों के सवाल और जवाब उन्हें देना भारी पड़ रहे हैं। कुछ ऐसा ही संघमित्रा मौर्य ( Sanghmitra Maurya ) के साथ हो रहा है।
संघमित्रा मौर्य ( Sanghmitra Maurya ) पूर्व विधायक और भाजपा नेता और मोजूदा सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ( Swami Prasad Muarya ) की बेटी के साथ साथ बदायूं से बीजेपी की सांसद भी हैं। पिता के समाजवादी पार्टी ज्वाइन करने के बाद संघमित्रा पर जैसे सवालों की बौछार आ गई । सब के सवालों को बार बार जवाब देने से बेहतर संघमित्रा ने अपने फेसबुक पेज पर कुछ यूं फीलिंग्स शेयर की।
“मैं कुछ मांगू और पूरा न हो,
ऐसे तो हालात नहीं,
मैं पुकारुं और पापा न सुनें,
इतने भी हम दूर नहीं “
पिता और बेटी का रिश्ता दुनिया का सबसे मजबूत रिश्ता है।
मैं देश के प्रधानमंत्री आदरणीय नरेंद्र मोदी जी के मुझे बेटी के रूप में मेरे पिता से मांगे हुए वचन से बंधी हुई हूँ।
सोशल मीडिया पर जब अशोभनीय शब्द पड़ती हूँ तब ऐसा नहीं है जबाब नहीं दे सकती ,ऐसा भी नहीं है फैसला नहीं ले सकती ,लेकिन तभी आदरणीय प्रधानमंत्री जी के द्वारा पिताजी से बोले गए शब्द कि मौर्य जी “ये बेटी अब हमारी बेटी है ये बेटी हमने ले ली”गूँज जाते हैं।
सांसद बनने से पहले मैं सामाजिक कार्यो में व्यस्त रहती थी सांसद बनने के बाद अपनी जिम्मेदारियों का संसद में निर्वाहन कर रही हूं और आगे भी करती रहूंगी।
आपके हक के लिए लड़ने में कही पीछे नही रहूंगी ।
मेरे पिता मेरे अभिमान हैं ,मेरे हीरो हैं ।
पार्टी अलग हो सकती है लेकिन पिता पुत्री नहीं।
आज उत्तर प्रदेश में जो स्थिति है वो बड़बोलापन ही है जहाँ एक तरफ आदरणीय मोदी जी भाजपा का बड़ा परिवार करने की बात करते है और काम करते है वही निचले स्तर के लोग छोटी सोच का परिचय दे कर किसी को हजम नही करना चाहते ।
जय भाजपा तय भाजपा