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SSC पेपर लीक केसः सरकार ने मानी प्रदर्शनकारी छात्रों की मांग, गृह मंत्री राजनाथ सिंह बोले- अब CBI करेगी जांच

स्टाफ सेलेक्शन कमीशन (एसएससी) पेपर लीक मामले में केंद्र सरकार ने सीबीआई जांच के आदेश दे दिए हैं. सोमवार को गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि कथित एसएससी घोटाले में छात्रों की सीबीआई जांच की मांग को केंद्र सरकार स्वीकार करती है और जांच के आदेश देती है. राजनाथ सिंह ने छात्रों को दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाते हुए कहा कि अब छात्रों को प्रदर्शन खत्म कर देना चाहिए.

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SSC Scam CBI Probe Delhi Student
  • March 5, 2018 1:48 pm Asia/KolkataIST, Updated 7 years ago

नई दिल्लीः स्टाफ सेलेक्शन कमीशन (एसएससी) पेपर लीक मामले में केंद्र सरकार ने सीबीआई जांच के आदेश दे दिए हैं. सोमवार को गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि इस मामले में छात्रों की सीबीआई जांच की मांग को केंद्र सरकार स्वीकार करती है और जांच के आदेश देती है. राजनाथ सिंह ने छात्रों को दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिलाते हुए कहा कि अब छात्रों को प्रदर्शन खत्म कर देना चाहिए. दूसरी ओर यह मामला सुप्रीम कोर्ट भी पहुंच चुका है. कथित एसएससी घोटाले की जांच के लिए वकील मनोहरलाल शर्मा ने जनहित याचिका भी दाखिल की है. याचिका में सुप्रीम कोर्ट की निगरानी में जांच की अपील की गई है. सुप्रीम कोर्ट याचिका पर 12 मार्च को सुनवाई करेगा.

बताते चलें कि केंद्र सरकार के DOPT मंत्रालय ने इस मामले की सीबीआई जांच के आदेश दे दिए हैं. गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा कि अब मामले में सीबीआई जांच के आदेश दिए जा चुके हैं, इसलिए छात्रों को अपना प्रदर्शन खत्म कर देना चाहिए. कांग्रेस नेता और सांसद शशि थरूर ने सोमवार को इस मुद्दे पर ट्वीट कर कहा, ‘मैंने आज केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह से इस मुद्दे पर बात की. उन्होंने इस मसले की सीबीआई जांच के आदेश दे दिए हैं.’

प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने केंद्र सरकार के फैसले का स्वागत करते हुए कहा कि उनका धरना तब तक जारी रहेगा जब तक केस से जुड़ी सीबीआई जांच को लेकर एक पुख्ता प्रारूप रिलीज नहीं किया जाता. वह देखना चाहते हैं कि उसमें उनकी मांगों का जिक्र किया गया है कि नहीं. बताते चलें कि सुप्रीम कोर्ट में दाखिल याचिका में वकील मनोहरलाल शर्मा ने कहा है कि कोर्ट की ओर से सरकार को निर्देश दिए जाएं कि आगे से कभी पेपर लीक न हो इसके लिए पुख्ता तैयारियां की जाएं. कई बार ऐसे मामले सामने आते रहे हैं. पेपर लीक होने की वजह से छात्रों को परेशान होना पड़ता है. सरकार इस बारे में जरा भी चिंतित नहीं है, लिहाजा अदालत ही इस संबंध में सरकार को निर्देश दे.

क्या है मामला
एसएससी द्वारा 17 से 21 फरवरी तक परीक्षाएं करवाई गई थीं. 21 फरवरी को आयोजित की गई गणित की ऑनलाइन परीक्षा का पेपर लीक होने के बाद बवाल खड़ा हो गया. एसएससी ने पेपर लीक की खबरों को अफवाह करार दिया. एसएससी के बयान के बाद छात्रों को भी भरोसा हो गया कि यह अफवाह ही है. जिसके बाद एसएससी ने गणित की परीक्षा को रद्द कर दिया और 9 मार्च को फिर से इस परीक्षा के आयोजन की बात कही. फिर क्या था, छात्रों का शक यकीन में बदल गया और 27 फरवरी से देशभर के छात्र दिल्ली स्थित एसएससी दफ्तर के बाहर जुटने लगे.

SSC ने SIT के गठन की बात कही थी
छात्रों का प्रदर्शन तेज होता चला गया. यहां तक कि होली के त्योहार के दिन भी छात्र इंसाफ की मांग पर वहीं अड़े रहे. बढ़ते विरोध को देखते हुए एसएससी के चेयरमैन आशिम खुराना छात्रों के एक प्रतिनिधिमंडल से मिलने पहुंचे. छात्रों ने कथित तौर पर एसएससी घोटाले की निष्पक्ष जांच के लिए इसकी जांच सीबीआई से कराने की मांग की. खुराना ने छात्रों से कहा कि सीबीआई जांच में लंबा वक्त लगेगा. वह एक आंतरिक SIT गठित कर देते हैं जो केस की निष्पक्ष जांच करेगी लेकिन छात्र इसके लिए नहीं माने.

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