नई दिल्ली, राष्ट्रपति चुनाव में भले ही उद्धव ठाकरे के गुट ने NDA की द्रौपदी मुर्मू का समर्थन करने का फैसला कर लिया हो लेकिन उपराष्ट्रपति के लिए होने वाले चुनाव में वे विपक्ष की उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा का ही समर्थन करने वाले हैं. एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार के आवास पर बैठक में भाग लेने […]
नई दिल्ली, राष्ट्रपति चुनाव में भले ही उद्धव ठाकरे के गुट ने NDA की द्रौपदी मुर्मू का समर्थन करने का फैसला कर लिया हो लेकिन उपराष्ट्रपति के लिए होने वाले चुनाव में वे विपक्ष की उम्मीदवार मार्गरेट अल्वा का ही समर्थन करने वाले हैं. एनसीपी सुप्रीमो शरद पवार के आवास पर बैठक में भाग लेने के बाद संजय राउत ने कहा कि वे अल्वा का समर्थन करेंगे. बता दें कि भाजपा की मदद से एकनाथ शिंदे ने महाराष्ट्र में सरकार बना ली है और उद्धव ठाकरे को सत्ता से बेदखल कर दिया गया है, इसके बावजूद एनडीए के उम्मीदवार को समर्थन देने के ऐलान के बाद कांग्रेस और एनसीपी उद्धव गुट से नाखुश नज़र आ रहे हैं.
संजय राउत ने कहा कि उपराष्ट्रपति के चुनाव में विपक्ष की एकता बरकरार है. उन्होंने कहा, ‘द्रौपदी मुर्मू एक आदिवासी महिला हैं और देश में आदिवासियों के प्रति लोगों के मन में संवेदना है, हमारे बहुत सारे विधायक और सांसद भी आदिवासी समुदाय से ही आते हैं. इसीलिए हमने उनका समर्थन करने का ऐलान किया है, हालांकि यहां हम मार्गरेट अल्वा का समर्थन करेंगे, विपक्षी एकता कायम है.’ राज्यसभा में शिवसेना के सांसद राउत ने पहले भी कहा था कि मुर्मू का समर्थन करने का मतलब यह नहीं है कि वे भाजापा का साथ दे रहे हैं. बता दें कि भाजपा के साथ दशकों का गठबंधन तोड़कर शिवसेना ने एनसीपी और कांग्रेस के साथ मिलकर महाविकास अघाड़ी की सरकार बनाई थी, पिछले महीने विधायकों की बगावत के बाद उद्धव ठाकरे को बड़ा झटका लगा औऱ उनकी सरकार गिर गई, बावजूद इसके उद्धव ने गठबंधन नहीं तोड़ा।