RBI Deputy Governor Viral Acharya Quits: रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने अपना कार्यकाल पूरा होने से पहले ही इस्तीफा दे दिया है. आरबीआई डिप्टी गवर्नर के रूप में विरल आचार्य का कार्यकाल पूरा होने में 6 महीने बचे हैं. पिछले साल आरबीआआ गवर्नर उर्जित पटेल द्वारा समय से पहले इस्तीफा देने के बाद आरबीआई को यह दूसरा झटका लगा है. आरबीआई के गवर्नर शक्तिकांत दास और विरल आचार्य के बीच कई मसलों पर वैचारिक मतभेद देखने को मिले हैं, ऐसे में कयास लग रहे हैं कि कहीं नाराजगी में तो विरल आचार्य ने आरबीआई गवर्नर के पद से इस्तीफा तो नहीं दे दिया है. जानें क्या है सच्चाई.
नई दिल्ली. RBI Deputy Governor Viral Acharya Quits: रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया को एक के बाद एक झटके लग रहे हैं. आरबीआई के पूर्व गवर्नर उर्जित पटेल द्वारा समय से पहले इस्तीफा दिए जाने के बाद अब आरबीआई के डिप्टी गवर्नर विरल आचार्य ने भी इस्तीफा दे दिया है. कार्यकाल पूरा होने से 6 महीने पहले ही आरबीआई डिप्टी गवर्नर के इस्तीफा देने से फिर से अटकलों का दौर शुरू हो गया है कि आखिरकार क्या कारण हैं कि एक के बाद एक आरबीआई के बड़े अधिकारी समय से पहले इस्तीफा दे रहे हैं. कांग्रेस ने विरल आचार्य के इस्तीफे के बाद बीजेपी पर हमला बोला है. कांग्रेस प्रवक्ता सुरजेवाला ने सोमवार सुबह ट्वीट किया कि सरकारें बदलती हैं, लेकिन अर्थव्यवस्था से जुड़ीं समस्याएं ज्यों की त्यों है. आरबीआई में लगातार इस्तीफों का दौर जारी है.
माना जा रहा है कि विरल आचार्य वापस न्यू यॉर्क लौटेंगे और वहां टीचिंग करियर को आगे बढ़ाएंगे. विरल आचार्य की फैमिली न्यू यॉर्क में ही रहती है. यहां बता दूं कि विरल आचार्य ने पिछले साल 26 अक्टूबर को आरबीआई की स्वायत्तता बरकरार रखने को लेकर बयान दिया था, जिसके बाद से ही कयास लगाए जा रहे थे कि कहीं ये भी आरबीआई से इस्तीफा न दे दें.
Reserve Bank of India (RBI) Deputy Governor, Viral Acharya has resigned six months before the scheduled end of his term. He had joined RBI in 2017. (file pic) pic.twitter.com/RyxAt6fmAN
— ANI (@ANI) June 24, 2019
Govt changes, but issues of Economic Manhandling remain!
RBI Dy Guv, Viral Acharya adds his name to the long list of experts who attempted to show the ‘Mirror of Truth’ to BJP regime.
4 Economic Advisors,2 RBI Guvs & a Niti Aayog VC has resigned earlier! https://t.co/RZbpk2QYyf
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) June 24, 2019
विरल आचार्य 23 जनवरी 2017 को डिप्टी गवर्नर के रूप में रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) से जुड़े थे. विरल आचार्य 90 के दशक में आर्थिक उदारीकरण के बाद से केंद्रीय बैंक आरबीआई के सबसे कम उम्र के डिप्टी गवर्नर थे. पिछले साल दिसंबर में आरबीआई गवर्नर उर्जित पटेल द्वारा समय से पहले इस्तीफा देने के बाद से विरल आचार्य भी आरबीआई में सहज महसूस नहीं कर रहे थे. माना जा रहा है कि विरल आचार्य के इस्तीफा देने के बाद आरबीआई के सीनियर डिप्टी गवर्नर एन. विश्वनाथन का कार्यकाल बढ़ाया जा सकता है.
मालूम हो कि मौद्रिक नीति को लेकर कई बार विरल आचार्य के बयान आरबीआई के अन्य अधिकारियों से अलग रहे हैं. उन्होंने पिछले दो बार से मौद्रिक नीति समीक्षा के दौरान आर्थिक विकास और महंगाई के मुद्दों पर अलग राय दी थी. साथ ही मौद्रिक नीति समीक्षा बैठक में भी आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास और विरल आचार्य के बीच वित्तीय घाटे और इसके आकलन के मसले पर असहमति दिखी थी.
उल्लेखनीय है कि विरल आचार्य ने वर्ष 1995 में आईआईटी मुंबई से कंप्यूटर साइंस और इंजीनियरिंग की पढ़ाई की है. उन्होंने साल 2001 न्यू यॉर्क यूनिवर्सिटी से फाइनैंस में पीएचडी की. विरल आचार्य ने भारत आने से पहले लंदन बिजनेस स्कूल में अकैडमिक डायरेक्टर के पद पर कार्यरत थे. बाद में साल 2008 में विरल आचार्य ने न्यू यॉर्क यूनिवर्सिटी में अर्थशास्त्र पढ़ाना शुरू किया.