Goa Cm Manohar Parrikar Death: 2014 से लेकर अब तक पिछले पांच सालों में भाजपा की नरेंद्र मोदी सरकार के चार केंद्रीय मंत्रियों का निधन हो चुका है. मोदी सरकार बनते ही तत्कालीन केंद्रीय मंत्री का सड़क दुर्घटना में निधन हो गया. इसके बाद 2017 में अनिल माधव दवे और 2018 में अनंत कुमार भी चल बसे. अब मोदी सरकार में रक्षा मंत्री रहे मनोहर पर्रिकर का भी देहांत हो गया है.
पणजी. गोवा सीएम और बीजेपी के दिग्गज नेता मनोहर पर्रिकर का 63 साल की उम्र में निधन हो गया है. मनोहर पर्रिकर ने रविवार शाम गोवा के एक अस्पताल में अंतिम सांस ली. राजनीति में मिस्टर क्लीन कहे जाने वाले मनोहर पर्रिकर नरेंद्र मोदी सरकार में बतौर रक्षा मंत्री भी रह चुके हैं. हालांकि साल 2017 में उन्होंने वापस गोवा जाकर सत्ता संभालने के लिए कहा तो पार्टी हाईकमान को उनके रक्षा मंत्री पद से इस्तीफे को मंजूर करना पड़ा. ये सिर्फ एक संयोग की बात है कि साल 2014 से लेकर 2019 तक 4 ऐसे लोगों का निधन हुआ है जो नरेंद्र मोदी सरकार के कार्यकाल में मंत्री पद संभाल चुके हैं.
गोपीनाथ मुंडे ( 3 जून 2014)
2014 में नरेंद्र मोदी सरकार को बने हुए अभी कुछ ही दिन बीते थे कि केंद्रीय मंत्री गोपीनाथ मुंडे के निधन की खबर से पूरा देश शोक के माहौल में डूब गया. 3 जून 2014 को जब केंद्रीय मंत्री गोपीनाथ मुंडे दिल्ली से मुंबई जाने के लिए एयरपोर्ट पहुंच रहे थे, उससे पहले ही उनका सड़क हादसा हो गया. और सिर्फ 60 मिनट के भीतर ही गोपीनाथ मुंडे दुनिया को अलविदा कह गए. उस समय नए-नए मंत्री बने गोपीनाथ मुंडे अपने ही स्वागत समारोह के लिए अपने घर मुंबई जा रहे थे लेकिन जिंदगी को कुछ और ही मंजूर था.
अनिल माधव दवे ( 18 मई 2017)
नरेंद्र मोदी सरकार में केंद्रीय पर्यावरण मंत्री और बीजेपी के दिग्गज नेता अनिल माधव दवे का निधन 18 मई 2017 को हुआ था. उस समय अनिल दवे महज 61 साल के थे. दिल का दौरा पड़ने के बाद केंद्रीय मंत्री अनिल माधव दवे को दिल्ली के एम्स अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां उन्होंने अंतिम सांस ली. अनिल माधव दवे के निधन के बाद उनके सम्मान में देशभर में राष्ट्रीय ध्वज को आधा झुकाया गया था.
अनंत कुमार ( 12 नंवबर 2018)
नरेंद्र मोदी सरकार में मंत्री अनंत कुमार सिंह का 59 वर्ष की आयु में 12 नवंबर 2018 को निधन हुआ था. केंद्र सरकार में संसदीय कार्यमंत्री अनंत कुमार पिछले काफी समय से कैंसर से पीड़ित थे और उनका इलाज चल रहा था. कर्नाटक के बेंगलुरु साउथ से सांसद अनंत कुमार ने अंतिम सांस भी बेंगलुरु के एक अस्पताल में ली. 13 नवंबर को सुबह 9 बजे बेंगलुरु नेशनल कॉलेज ग्राउंड पर उनके पार्थिव शरीर को श्रद्धांजलि के लिए रखा गया था, जहां तमाम बड़े नेता पहुंचे थे.